शादी में नकदी दिए थे पांच लाख
मृतिका पूजा सिंह सेंगर के पिता मनरूप सिंह निवासी नरदहा थानाधरमपुरए जिला.पन्ना हाल निवास बेनीसागर मोहल्ला पन्ना ने पुलिस को बताया उनकी बेटी पूजा की शादी दिनांक 23 जून 2010 को राकेश सिंह सेंगर पिता लाल बहादुर सिंह सेंगर निवासी कीरतपुर थाना धरमपुर हाल निवास अजयगढ के साथ हुआ था। शादी में उन्होंने सोना, चॉंदी, बर्तन, कपड़े, नगद 5 लाख रुपए नकदी दिए थे। उसके चार साल का एक बच्चा भी है जिसका नाम राज सिंह है उन्होंने बताया, उनकी बेटी एएनएम थी। पति और जेठ द्वारा उसे नौकरी पर नहीं जाने दिया जाता था।
नौकरी से हटवाने की धमकी देने के साथ ही पांच लाख रुपए और दहेज की मांग की जा रही थी। 4 जनवारी 2016 को जब मेरी बेटी मृतिका पूजा सिंह अजयगढ़ अपने ससुराल में थी तब उसके ससुरालवालों ने मायके से 5 लाख रुपए लेकर आने की बात को लेकर उसके साथ मारपीट की थी । जिसकी रिपोर्ट बेटी पूजा सिंह ने थाना अजयगढ में की थी। जिसपर आरोपीगणों के विरूद्ध अपराध पंजीबद्ध हुआ था । जिसपर बाद में आरोपियों ने समझौता करा लिया था। समझौते के कुछ दिन बाद फिर दहेज के लिये प्रताडि़त करने लगे थे।
चार साल के बेटे ने खोला हत्याकांड का राज
मृतका के पिता के अनुसार जब हमें सूचना मिली कि मेरी बेटी खत्म हो गई है तब बेटी पूजा की लाश पीएम रूम में रखी हुई थी उसके शरीर में कई जगह चोट के निशान थे और मृतिका पूजा की मौत के बारे में उसके बेटे, नाती राज सिंहसे पूछा तो उसने बताया कि मम्मी के साथ पापा ने मारपीट किया था और रस्सी से बांधा था। तब थाना अजयगढ़ में अपराध दर्ज कर अपराध पंजीबद्ध कर विवेचन बाद मामला कोर्ट में प्रस्तुत किया गया।
प्रकरण की गंभीरता को देखते हुए शासन द्वारा उक्त प्रकरण को जघन्य एवं सनसनीखेज प्रकरण के रूप में चिन्हित किया गया। प्रकरण में दोनों पक्षों को सुनने के बाद अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश पन्ना अनुराग द्विवेदी ने आरोपी पति राकेश सिंह सेंगर पिता लालबहादुर सेंगर और जेठ रमेश सिंह पिता लालबहादुर सिंह निवासी ग्राम कीरतपुरए थाना धरमपुरए हाल निवास चौबियाना मोहल्ला अजयगढ़ को धारा 302, 34 भादवि में आजीवन कारावास और 1000 रुपए के अर्थदण्ड और दोनों आरोपीगणों को धारा 498ए भादवि में 3 वर्ष का कारावास और 1000 रुपए अर्थदण्ंड, धारा 4 दहेज प्रतिशेध अधिनियम में 2 वर्ष का कारावास व 500 अर्थदंड से दंडित किया गया। प्रकरण में शासन की ओर से जिला लोक अभियोजन अधिकारी प्रवीण कुमार सिंह ने पैरवी की।