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राहुल गांधी से मिलकर वादा याद दिलाएंगे हसदेव अरण्य के ग्रामीण

- 2015 में खनन परियोजनाओं का विरोध करने आए थे राहुल- कोरबा, सूरजपुर और सरगुजा के दर्जनों गांव अब भी कर रहे हैं विरोध  

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राहुल गांधी से मिलकर वादा याद दिलाएंगे हसदेव अरण्य के ग्रामीण

राहुल गांधी से मिलकर वादा याद दिलाएंगे हसदेव अरण्य के ग्रामीण

रायपुर. उत्तर छत्तीसगढ़ में प्रस्तावित खनन परियोजनाओं से हसदेव अरण्य को बचाने का संघर्ष कर रहे दर्जनों गांवों के लोग कांग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी से मुलाकात करने वाले हैं। हसदेव अरण्य बचाओ संघर्ष समिति की रविवार को फतेहपुर गांव में हुई बैठक में इस बात का फैसला हुआ।
पतुरियाडांड गांव के सरपंच उमेश्वर सिंह आर्मों ने बताया, राहुल गांधी से मुलाकात कर उनका वादा याद दिलाया जाएगा। राहुल गांधी 2015 में मदनपुर आए थे। उस दौरान उन्होंने खनन परियोजनाओं के लिए जंगलों के काटे जाने और आदिवासियों के विस्थापन का विरोध किया था। उन्होंने खनन का विरोध कर रहे ग्रामीणों का साथ देने का वादा किया था, लेकिन प्रदेश में कांग्रेस की सरकार बन जाने के बाद भी स्थितियां नहीं बदली हैं। बैठक में तय हुआ, जल्दी ही एक प्रतिनिधिमंडल दिल्ली जाकर कांग्रेस नेता से मुलाकात करेगा, ताकि राज्य सरकार पर ग्रामसभाओं की अनुमति के बगैर खनन की कोशिशें रोकने का दबाव बनाया जा सके। बताया गया, इस बैठक में धजाक सरपंच धनसाय मंझवार, घाट बर्रा सरपंच जयन्दन पोर्त, बासेन सरपंच श्रीपाल पोर्ते, मदनपुर के उपसरपंच राजू सिंह मरपच्ची, मदनपुर जनपद सदस्य बजरंग सिंह पैकरा तथा दूसरी पंचायतों के प्रतिनिधि और ग्रामीण मौजूद रहे। बैठक में परसा कोल ब्लॉक, मदनपुर साउथ कोल ब्लॉक और पतुरियाडांड़-गिद्धमुड़ी कोल ब्लॉक को निरस्त कराने के लिए लंबे समय से चल रहे आंदोलन को फिर से शुरू करने का निर्णय हुआ। इस आंदोलन के तहत संबंधित गांवों के आदिवासी फतेहपुर गांव में अक्टूबर 2019 से धरने पर बैठे थे।