मामले को लेकर शहर कांग्रेस अजा प्रकोष्ठ के अध्यक्ष हितेश पैमाल ने कहा कि दैनिक वेतन भोगी कर्मचारी है तो गंदे नाले में जिंदगी के साथ खिलवाड़ करते हुए उतारना अधिकारियों की गंदी सोच है, हम इसकी निंदा करते है। वहीं, मामले को लेकर नगर निगम के अफसरों से संपर्क किया गया तो स्वच्छता निरीक्षक ने टालमटोल जवाब दे दिया।
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सीवरेज के गड्डे में कर्मचारी को यूं उतार दिए जाने से जहां हर कोई नगर प्रशासन की थू—थू कर रहा है वहीं प्रदेश के नगरीय प्रशासन मंत्री ओपीएस भदोरिया को इस घटना पर गहरा दुख है. उन्होंने घटना पर बेहद अफसोस जताया है. उन्होंने कहा कि यह घटना बेहद अफसोसजनक है, इसका दोहराव नहीं हो इसके लिए निर्देश दिए जा रहे हैं।