मेडिकल कॉलेज में एमबीबीएस की 100 सीटों की स्पष्ट मान्यता के लिए पिछले पांच साल से कवायद चल रही थी। कालेज में एमबीबीएस का कोर्स चलाने की स्पष्ट मान्यता को लेकर एमसीआई की अलग-अलग टीमों ने निरीक्षण कर व्यवस्थाएं देखी और मानक पूरा करने का समय दिया।
वर्ष 2018 में 27 व 28 अगस्त को एमसीआइ की टीम ने फाइनल निरीक्षण किया। अंतिम निरीक्षण के बाद फाइनल प्रजेंटेशन के लिए मेडिकल कालेज के डीन को दिल्ली बुलाया गया था। एक माह पहले मेडिकल कालेज की ओर से डीन के बतौर प्रतिनिधि डॉ. पीके लखटकिया ने दिल्ली में प्रजेंटेशन दिया। मेडिकल कालेज के डीन डॉ पीसी द्विवेदी के अनुसार एमसीआइ ने श्याम शाह चिकित्सा महाविद्यालय के 100 सीटों की स्पष्ट मान्यता पर अंतिम मुहर लगा दी है।
श्याम शाह चिकित्सा महाविद्यालय रीवा में एमबीबीएस की पहले ६८ सीटों की मान्यता थी और अब बढक़र 100 हो गईं। अधिष्ठाता की ओर से एमबीबीएस की 50 नई सीटों का प्रस्ताव भेजा गया है। मान्यता की प्रक्रिया फाइनल होने के बाद अब नई सीटों की औपचारिकताएं शुरू कर दी गई हैं। संभावना है कि एमसीआइ की २२ फरवरी के बाद कभी भी एमआईसी की टीम निरीक्षण के लिए रीवा आएगी। नई सीटों को बढ़ाने की प्रक्रिया मार्च तक फाइनल होने की संभावना है।
मेडिकल काउंसि ऑफ इंडिया ने देश के 43 मेडिकल कालेजों की फाइनल प्रक्रिया के लिए एक साथ रिपोर्ट मांगी थी। प्रजेंटेशन की प्रक्रिया पूरी होने के बाद मध्य प्रदेश के रीवा, भोपाल, ग्वालियर, सागर सहित अन्य सरकारी गैर सरकारी मेडिकल कालेजों की मान्यता की प्रक्रिया चल रही थी। एमआईसी ने 7 फरवरी को पहली लिस्ट जारी कर दी है। जिसमें मध्य प्रदेश से श्याम शाह चिकित्सा महाविद्यालय की बढ़ी सीटों हरीझंडी दे दी गई है।
एमसीआइ ने एमबीबीएस की 100 सीटों की स्पष्ट मान्यता की मंजूरी दे दी है। अब 150 सीटों के लिए प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। नई सीटों के लिए जो भी आश्वयक मापदंड हैं, वो जुटाए जा रहे हैं।
डॉ. पीसी द्विवेदी, डीन, मेडिकल कालेज, रीवा