READ MORE: कोई संकट या राजनीति: चित्रकूट नगरवासी रहते है झीलों के किनारे, फिर भी कण्ठ पानी को प्यासे डेढ़ घंटे तक चली बोर्ड बैठक में आंदोलन पर ही केन्द्रित रही। बोर्ड ने कहा कि सरकार अगर तहसील का दर्जा देती है, तो भवन के लिए नि:शुल्क जमीन पालिका उपलब्ध करवाएगी। एक पार्षद के सवाल पर अध्यक्ष व उपाध्यक्ष ने बताया कि सरकार के साथ बातचीत चल रही है। भाजपा प्रदेश अध्यक्ष को भी अवगत करवाया चुके हैं। जल्द ही मुख्यमंत्री से वार्ता की जाएगी।
READ MORE: उदयपुर में अधिकारी-नेताओं ने हटाई लालबत्ती, जनता बोली-खास और आम का फर्क खत्म उधर, धरना स्थल पर : कानोड़ से वादाखिलाफी पर जताया आक्रोश आंदोलन के 21वें दिन राजपूत समाज धरने पर बैठा। वक्ताओं ने विधायक व सरकार को आड़े हाथ लिया। कहा कि वादा करने के बाद मुकरना आदत बन चुकी है। जनता आने वाले चुनाव में सबक सिखाएगी। पार्षदों ने कहा कि सरकार और जनप्रतिनिधियों ने कानोड़वासियों की शालीनता का गलत फायदा उठाया है। गृहमंत्री ने पालिका चुनाव में वादा किया था कि भाजपा का बोर्ड बनवाओ, विकास कार्यों में कमी नहीं रहने देंगे, लेकिन बोर्ड बनने के बाद एक पैसा तक नहीं दिया गया।
यह भी कहा कि जब 11 पंटवार मंडल वाला क्षेत्र नगरपालिका घोषित कर दिया गया है, तो कस्बे के पास 13 पंचायत होने के बावजूद तहसील क्यों नहीं है। जनता सेना के पारस नागौरी, वकील मुकेश चौबीसा, पालिका के पूर्व उपाध्यक्ष मनोज भाणावत, चेतनसिंह भाटी, भंवरीकुंवर, मनोहरसिंह चौहान, फेफकुंवर, जगदीश भंडारी, अशोक सिंह, रामसिंह गहलोत, रणजीत सिंह, जनता सेना के मंडल अध्यक्ष रतनलाल लक्षकार ने भी संबोधित किया।
संघर्ष समिति के अनुसार मांग को लेकर शुक्रवार को शनि मंदिर में महाआरती होगी। मशाल जुलूस की भी तैयारी है।