गौरतलब है कि 15 मार्च के बाद रबी फसल पकने लगता है और अपै्रल शुरू होते ही फसल पक कर तैयार हो जाती है। वहीं पिछले चार दिनों से मार्च के महीने में सावन जैसी बारिश हो रही है। लगातार हो रही बारिश व ओलावृष्टि से फसलों को काफी नुकसान पहुंचा है। बेमौसम बारिश ने किसानों के कमर तोड़ दी है।
2-3 दिनों तक अभी और रहेगा असर
मौसम वैज्ञानिक एसके मंडल ने बताया कि उत्तरी छत्तीसगढ़ में विक्षोभ की सक्रियता में कमी हो रही है। जबकि अफगानिस्तान के निकट एक नया विक्षोभ अग्रसर है। इसका प्रभाव 2-3 दिनों में सरगुजा संभाग में देखने को मिल सकता है। इस दौरान तापमान में उतार-चढ़ाव की संभावना बनी रहेगी।
कई जगह गिरे ओले
बेमौसम बारिश व ओलावृष्टि ने किसानों की कमर तोड़ दी है। बुधवार की शाम को राजपुर के पस्ता, वाड्रफनगर ब्लाक के घाट पेंडारी व मैनपाट सहित अन्य कई स्थानों पर जमकर ओलावृष्टि हुई है। ओलावृष्टि से खेत में लगे गेहूं, चना, अरहर, सरसो व सब्जियां पूरी तरह से बर्बाद हो गई है।
प्रशासनिक टीम ने फसलों का किया आंकलन
विगत चार दिनों से लगातार हो रही बेमौसम बारिश के कारण सरगुजा के विभिन्न ग्रामों में किसानों के फसलों को क्षति हुई है। कलेक्टर विलास भोस्कर के निर्देश पर एसडीएम, तहसीलदार, पटवारी एवं कृषि विभाग के मैदानी अमले द्वारा अलग-अलग टीम बनाकर बेमौसम बारिश के कारण हुए फसल क्षति का सर्वेक्षण कर आंकलन किया गया।