MP NEWS: स्कूल शिक्षा विभाग के अफसरों ने नई योजना बनाने पर शुरू किया मंथन, स्कूल शिक्षा विभग में हो सकते हैं बड़े बदलाव..।
MP NEWS: मध्यप्रदेश के सरकारी शिक्षकों के लिए एक जरूरी खबर है। अब शिक्षक एक स्कूल में चार साल से ज्यादा नहीं रह पाएंगे। उन्हें प्रमोशन भी वर्क परफार्मेंस के आधार पर दिया जाएगा। सिंगापुर की यात्रा से लौटने के बाद विभाग के आला अफसरों ने इस नई योजना पर मंथन शुरू कर दिया है। सिंगापुर दौरे से लौटकर सभी अफसर अपनी अपनी रिपोर्ट पेश करेंगे और इसके बाद सभी की रिपोर्ट के आधार पर एक रिपोर्ट बनाई जाएगी और फिर तय होगा कि सिंगापुर शिक्षा व्यवस्था के कौन-कौन से बिंदु एमपी स्कूल शिक्षा विभाग में लागू किए जा सकते हैं।
स्कूल शिक्षा विभाग के 120 अफसर और प्राचार्य सिंगापुर के दौरे पर हैं। कुल 68 अधिकारियों और प्राचार्यों का दल छह जनवरी को सिंगापुर गया था, जो वापस आ गया है। दूसरा दल 13 जनवरी को रवाना हुआ है। यह दल 19 जनवरी को वापस आएगा। दल के सभी सदस्यों को अपनी-अपनी समीक्षा रिपोर्ट पेश करना है। पहले दल के 68 अधिकारियों और प्राचार्यों ने अपनी रिपोर्ट बनाना शुरू कर दी है।
सिंगापुर से ट्रेनिंग लेकर लौटे अफसरों ने बताया कि वहां शिक्षा में राजनीतिक हस्तक्षेप नहीं है। सिंगापुर में शिक्षकों की एक अलग पॉलिसी है। उसी पॉलिसी के अनुसार काम होता है। शिक्षकों को वर्क परफॉर्मेंस के आधार पर प्रमोशन मिलता है। एक स्कूल में शिक्षक चार साल से ज्यादा पदस्थ नहीं रह सकते हैं। रोटेशन में दूसरे स्कूल में भेजा जाता है। बच्चों का स्कूलों में सौ फीसदी प्रवेश अनिवार्य है। बच्चे का स्कूल में प्रवेश नहीं कराया जाता है, तो माता- पिता को समझाइश दी जाती है। बारहवीं के बाद विद्यार्थी का नेशनल टेस्टिंग एक्जाम होता है। इसी के आधार पर विद्यार्थी की काउंसलिंग कर उन्हें आगे के फील्ड में जाने की सलाह दी जाती है।