UP Tourism: उत्तर प्रदेश सरकार का लक्ष्य पर्यटन को आर्थिक समृद्धि के एक महत्वपूर्ण साधन के रूप में स्थापित करना है। पर्यटन मंत्री जयवीर सिंह का संदेश स्पष्ट है “पर्यटकों को देवतुल्य मानें और उनके अनुभव को अविस्मरणीय बनाएं।”
UP Tourism: उत्तर प्रदेश के पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह ने कहा कि पर्यटक देवतुल्य हैं और उनका सम्मान हमारी प्राथमिकता होनी चाहिए। उन्होंने गुरुवार को गोमती नगर स्थित पर्यटन भवन में प्रदेश की अर्थव्यवस्था को वन ट्रिलियन डॉलर तक पहुंचाने के लिए पर्यटन विभाग की तैयारियों की समीक्षा करते हुए यह बात कही। इस बैठक में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए कई महत्वपूर्ण बिंदुओं पर चर्चा की गई।
पर्यटन मंत्री ने कहा कि जो भी पर्यटक उत्तर प्रदेश घूमने आते हैं, वे अपने अनुभव को अपने साथ ले जाते हैं। अगर हम उन्हें बेहतर सेवाएं और सम्मान देंगे, तो वे अपने अनुभव को साझा करके उत्तर प्रदेश के ब्रांड एंबेसडर बनेंगे। उन्होंने कहा, “चाहे टैक्सी चालक हों, नाविक, दुकानदार या होटल संचालक, सभी को पर्यटकों के साथ वही व्यवहार करना चाहिए, जो वे अपने स्थानीय ग्राहकों के साथ करते हैं। किसी भी प्रकार का अतिरिक्त शुल्क लेना अनुचित है।”
जयवीर सिंह ने जोर दिया कि पर्यटन पुलिस और सामान्य पुलिस का पर्यटकों के प्रति व्यवहार सकारात्मक और सहयोगात्मक होना चाहिए। उन्होंने कहा कि पर्यटकों के प्रति सही दृष्टिकोण विकसित करने के लिए स्कूलों में भी जागरूकता कार्यक्रम चलाए जाने चाहिए। छात्रों को पर्यटकों के प्रति सही व्यवहार के लिए शपथ दिलाने और पर्यटन पर आधारित फिल्में दिखाने का सुझाव दिया गया।
मंत्री ने कहा कि भगवान गौतम बुद्ध से जुड़े स्थलों का विकास चरणबद्ध तरीके से किया जाएगा। इन स्थलों को पर्यटकों के लिए आकर्षक और सुविधाजनक बनाने पर जोर दिया गया है। इन स्थलों पर विकास के सभी कार्य ठोस, प्रमाणिक और परिणामदायी होंगे।
पर्यटन मंत्री ने बताया कि जीआईएस (ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट) में कुल 1.64 लाख करोड़ रुपए का निवेश प्रस्तावित है, जिसमें से 30,000 करोड़ रुपए के प्रोजेक्ट्स पूरी तरह तैयार हैं। उन्होंने अधिकारियों से कहा कि निवेशकों से लगातार फीडबैक लें और उनकी समस्याओं का समाधान करें।
मंत्री ने कहा कि उत्तर प्रदेश में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए बेहतर हेरिटेज पॉलिसी बनाई जाएगी। अन्य राज्यों की पॉलिसी का अध्ययन कर इसे उत्तर प्रदेश के लिए उपयुक्त रूप से तैयार किया जाएगा। उन्होंने अयोध्या में होम स्टे योजना की प्रशंसा करते हुए इसे पूरे प्रदेश में लागू करने की बात कही। इसके लिए बेड एंड ब्रेकफास्ट पॉलिसी तैयार करने का निर्देश दिया गया।
प्रमुख सचिव मुकेश कुमार मेश्राम ने सुझाव दिया कि महत्वपूर्ण पर्यटन स्थलों पर आने वाले पर्यटकों की पसंद-नापसंद का अध्ययन किया जाना चाहिए। इसके आधार पर उन स्थलों पर स्थानीय व्यंजनों और सांस्कृतिक अनुभवों को बढ़ावा दिया जाएगा, जिससे पर्यटकों को खास अनुभव प्राप्त हो।
मंत्री ने कहा कि उत्तर प्रदेश की अर्थव्यवस्था में पर्यटन अहम भूमिका निभाएगा। उन्होंने निर्देश दिया कि सभी गंतव्य स्थलों पर सुविधाओं का विस्तार फेज़वाइज किया जाए। हर पर्यटक स्थल को बेहतर बनाने के लिए स्मार्ट इंफ्रास्ट्रक्चर और विश्वस्तरीय सुविधाएं मुहैया कराई जाएंगी।
.पर्यटन स्थलों का विकास
.पर्यटकों से फीडबैक लेना और सुविधाओं में सुधार
.स्थानीय लोगों का पर्यटन के प्रति जागरूकता बढ़ाना
.होम स्टे और बेड एंड ब्रेकफास्ट योजनाओं का विस्तार
.पर्यटन पुलिस की ट्रेनिंग और उनके व्यवहार में सुधार
पर्यटन मंत्री ने बताया कि कई देशों की अर्थव्यवस्था पर्यटन पर निर्भर है। उत्तर प्रदेश में भी पर्यटन को मुख्य आर्थिक स्तंभ बनाने की दिशा में काम किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में आने वाले हर पर्यटक के अनुभव को बेहतरीन बनाना हमारा उद्देश्य है।
.बेहतर होम स्टे सुविधाएं
.वर्ल्ड क्लास इंफ्रास्ट्रक्चर
.पर्यटक स्थलों पर स्थानीय व्यंजन उपलब्ध कराना
.पर्यटकों के साथ समान व्यवहार सुनिश्चित करना
उत्तर प्रदेश सरकार का लक्ष्य पर्यटन को आर्थिक समृद्धि के एक महत्वपूर्ण साधन के रूप में स्थापित करना है। पर्यटन मंत्री जयवीर सिंह का संदेश स्पष्ट है: “पर्यटकों को देवतुल्य मानें और उनके अनुभव को अविस्मरणीय बनाएं।” यह केवल आर्थिक लाभ का जरिया नहीं बल्कि प्रदेश की सांस्कृतिक पहचान को भी सशक्त बनाने का माध्यम है।