रेलवे मंत्री अश्विनी वैष्णव ने संसद में बताया कि वंदे भारत ट्रेन की अधिकतम गति 180 किमी/घंटा हो सकती है, लेकिन सुरक्षा और तकनीकी कारणों से यह पूर्ण गति से नहीं चलती। रेलवे मार्गों की स्थिति और सिग्नलिंग प्रणाली भी इसकी गति को निर्धारित करती है।
वंदे भारत ट्रेन इन दिनों यात्रियों की पहली पसंद बन गई है। सुविधा और स्पीड को लेकर यह ट्रेन अक्सर चर्चा में रहती है। बता दें कि वंदे भारत ट्रेन 180 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से दौड़ सकती है, लेकिन यह फुल स्पीड पर कभी नहीं चलती।
संसद में इसको लेकर सवाल भी किया गया कि वंदे भारत ट्रेन आखिरकार फुल स्पीड से क्यों नहीं चलती है? इसका रेलवे मंत्री अश्विनी वैष्णव ने जवाब भी दिया।
अधिकतम इतनी रफ्तार से दौड़ती है वंदे भारत
रेल मंत्री ने अपने लिखित जवाब में कहा कि वंदे भारत ट्रेन को उस तरह से 180 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से दौड़ाने के हिसाब से डिजाइन किया गया है।, लेकिन यह फिलहाल अधिकतम 160 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से दौड़ती है। इसकी कई वजह है। रेल मंत्री ने बताया कि किसी भी ट्रेन की स्पीड ट्रैक की बनावट व उनके रखरखाव और रूट पर आने वाले अगले स्टेशन पर निर्भर करती है।
रेलवे ट्रैकों को किया जा रहा अपग्रेड
उन्होंने कहा कि पिछले 10 सालों में रेलवे ट्रैक को अपग्रेड करके ट्रेनों की गति बढ़ाने की दिशा में बड़े पैमाने पर काम हुआ है। काफी हद तक ट्रैकों की गति में सुधार भी हुआ है। देश में 78 प्रतिशत से अधिक ट्रैक अब 110 किमी प्रति घंटे और उससे अधिक की गति के लिए अपग्रेड किए जा चुके हैं।
राज्यसभा सांसद ने किया था सवाल
बता दें कि राज्यसभा सांसद फौजिया खान ने वंदे भारत की स्पीड को लेकर रेल मंत्री से सवाल किया था। उन्होंने पूछा था कि साल 2020-21 में वंदे भारत की औसत स्पीड 84।48 किलोमीटर प्रति घंटे थी, जो 2023-24 में घटकर 76।25 किलोमीटर प्रति घंटे तक पहुंच गई। क्या सरकार को इस बारे में जानकारी है? इसी सवाल का रेल मंत्री ने विस्तार से जवाब दिया। इसके साथ, उन्होंने यह भी बताया कि गति बढ़ने को लेकर ट्रैकों को और अपग्रेड किया जा रहा है।
गौरतलब है कि वंदे भारत ट्रेन की शुरुआत साल 2019 में की गई थी। फिलहाल कुल 140 वंदे भारत ट्रेन देश के विभिन्न रूटों पर दौड़ रही है। आने वाले दिनों में कुछ और रूटों पर वंदे भारत ट्रेन को लॉन्च करने की तैयारी है।