CG News: बिलासपुर व जगदलपुर में दो सुपर स्पेशलिटी अस्पताल चलाने में दिक्कत हो रही है। बिलासपुर में केवल कुछ विभागों की ओपीडी चल रही है। जबकि जगदलपुर में अस्पताल शुरू भी नहीं हुआ है।
CG News: @पीलूराम साहू एम्स की तर्ज पर हर जिले में सिम्स खोलने की घोषणा केवल कागजों में रह गई है। राज्य सरकार के गठन के डेढ़ साल में भी इस योजना पर कोई काम शुरू नहीं हुआ है। स्थिति ये है कि शासन को बिलासपुर व जगदलपुर में दो सुपर स्पेशलिटी अस्पताल चलाने में दिक्कत हो रही है। बिलासपुर में केवल कुछ विभागों की ओपीडी चल रही है। जबकि जगदलपुर में अस्पताल शुरू भी नहीं हुआ है। इसे ठेके पर दिया जा रहा है, लेकिन टेंडर फाइनल नहीं हो पा रहा है।
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एम्स की तर्ज पर सिम्स खोलने की घोषणा प्रदेश भाजपा ने अपने संकल्प पत्र में की थी। सिम्स यानी छत्तीसगढ़ इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस। संकल्प पत्र में इसे शामिल करने का उद्देश्य सभी जिलों के मरीजों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराना था। पत्रिका की पड़ताल में पता चला है कि इस दिशा में एक भी कदम आगे नहीं बढ़ा जा सका है।
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एम्स की तर्ज पर हर जिले में सिम्स बनाने की घोषणा अच्छा कदम है। इससे मरीजों को रायपुर की दौड़ नहीं लगानी पड़ेगी। बेहतर इलाज होगा। इलाज की सभी सुविधाएं मिलेंगी। हालांकि देखने वाली बात ये भी होगी कि सभी अस्पतालों के लिए डॉक्टर कहां से आएंगे? दरअसल न केवल प्रदेश, बल्कि पूरे देश् में डॉक्टरों की कमी है। इसे दूर करने में कुछ समय लगेगा। यूजी व पीजी की सीटें बढ़ रही हैं। इसमें क्वालिटी एजुकेशन पर भी जोर देना होगा।
डॉ. विष्णु दत्त, रिटायर्ड डीएमई