ग्रामीण पहुंचे थे क्रशर बंद कराने व खदान की स्वीकृति न देने की आपत्ति लगाने, लौटना पड़ा वापस
बीना. ग्राम बारधा के पास पत्थर खदान के लिए क्षेत्रीय मप्र प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड सागर द्वारा पर्यावरणीय स्वीकृति के लिए लोक सुनवाई का आयोजन शुक्रवार की दोपहर 1 बजे होनी थी। इसके लिए एक दिन पहले गांव में मुनादी कराई गई थी, लेकिन शाम 4 बजे तक कोई अधिकारी नहीं पहुंचे और आपत्ति दर्ज कराने पहुंचे ग्रामीणों को वापस लौटना पड़ा।
जानकारी के अनुसार अनुराग सिंह ठाकुर ने पत्थर खदान के लिए खसरा नंबर 575/1/1, क्षेत्रफल 1 हैक्टेयर के लिए पर्यावरणीय स्वीकृति के लिए आवेदन किया था। इसके लिए शुक्रवार को एसडीएम की अध्यक्षता में खनन स्थल के पास सुनवाई होनी थी। सुनवाई स्थल पर टेंट लगाया गया था और पटवारी राजेश शर्मा, सचिव करन अहिरवार, कोटवार मनोहर सहित ग्रामीण भी समय पर पहुंच गए थे, लेकिन शाम 4 बजे तक जब कोई अधिकारी नहीं पहुंचे, तो ग्रामीण वापस लौट आए।
ग्रामीण लिखकर ले गए थे आपत्ति
लोक सुनवाई स्थल पर पहुंचे ग्रामीण लिखित आपत्ति लेकर पहुंचे थे। अलग-अलग आपत्त्यिों में उल्लेख किया गया था कि जिस जगह क्रशर लगा है उस जगह के पट्टे दिए गए हैं। ग्रामीणों ने लीज रद्द करने की मांग की है, जिससे आवास बन सकें। वहीं, दूसरे आवेदन में जिस जगह क्रशर लगा है, वहां से खिमलासा रोड निकला है और 12 गांव के लोग निकलते हैं। यहां से सैकड़ों भारी वाहन गुजरने के कारण रोड खराब हो गया है। लोगों का निकलना मुश्किल हो रहा और दुर्घटनाएं होती हैं। ग्रामीणों ने उस जमीन को गोचर की बताकर क्रशर बंद कराने की मांग की है।
अचानक जाना पड़ा था सागर
शुक्रवार को लोक सुनवाई का आयोजन होना था, लेकिन कलेक्टर कार्यालय से फोन आने पर अचानक सागर जाने से आयोजन नहीं हो सका। जल्द ही अगली तारीख तय की जाएगी।
मनोज चौरसिया, एसडीएम, खुरई