राइट्स यानी टीडीआर पॉलिसी से जमीन अधिग्रहण कर इसका निर्माण करने प्रस्ताव तैयार कर रहा है। फिलहाल ये प्राथमिक स्थिति में है। इस रोड के बनने से कोलार से बैरागढ़ की करीब चार लाख से अधिक आबादी की राह अब तक आसान हो जाएगी।
कोलार से बैरागढ़ के बीच करीब 25 किमी की दूरी है। कोलार से बैरागढ़ जाना हो तो रोशनपुरा, वीआईपी रोड या फिर पीरगेट से ही जाना पड़ता है। जबकि इसके लिए कोलार से नीलबड़ या रातीबड़ होते हुए बरखेड़ी और आगे बैरागढ़ के पास से रास्ता निकाला जा सकता है। केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने रिंग रोड के लिए शासन को प्रस्ताव भेजने का कहा था, लेकिन बाद में जमीन अधिग्रहण का मुआवजा अधिक आकलित होने से प्रोजेक्ट रद्द हो गया। यदि भोपाल की अधूरी रिंग रोड को पूरा करने प्रस्ताव तय किया जाता है और इसे प्राथमिकता में शामिल कर पूरा कराया जाता है तो शहरवासियों को बड़ी राहत मिल सकती है। अभी बैरागढ़ के पास नरसिंहगढ़ रोड से करोद कोकता बायपास होते हुए पटेल नगर, मिसरोद 11 मील तक रोड बनी हुई है।
कोलार रोड से ट्रैफिक का दबाव कम हो जाएगा। नीलबड़, रातीबड़ और बैरागढ़ की ओर आवाजाही करने वाले सीधे रिंग रोड से होकर गुजर जाएंगे। अभी भदभदा से नीलबड़ और आगे तक रोड बनाई जा रही है। हालांकि ये शहर के अंदर की रोड है, ऐसे में नीलबड़ व रातीबड़ के बीच ये रिंग रोड निकल सकती है। रोजाना करीब 30 हजार लोगों को लाभ हो सकता है।