जिले के बांधों का ये है जलस्तर
जल संसाधन विभाग के आंकड़ो के मुताबिक शहर को पेयजल सप्लाई करने वाले बूढ़ा बांध में 10 एमसीएम जलभराव है। जो न्यूनतम जलभराव स्तर से भी नीचे चला गया है। गोरा टैंक में न्यूनतम जल स्तर से कम जलभराव के साथ 11 एमसीएम पानी ही बचा है। कुटनी डेम में भी न्यूनतम जल स्तर से पानी 1 मीटर नीचे चला गया है। रनगुंवा बांध का पानी भी न्यूनतम जल स्तर 219 एम के साथ तलहटी में पहुंच गया है। वहीं सिंहपुर बांध में दो फीसदी पानी ही बचा है।
तीन साल में ज्यादा बिगड़े हालात
जिले के आठ बड़े बांधों में जलस्तर के हालात पिछले दो साल से लगातार बिगड़ रहे हैं। वर्ष 2020 में जुलाई माह की शुरुआत में किसी भी बांध में जलस्तर डेडलाइन के ऊपर नहीं था। जबकि वर्ष 2021 में 4 बड़े बांधों का जलस्तर न्यूनतम जलस्तर से ऊपर गया था। 2022 में भी गर्मी का सीजन खत्म होने तक बांधों का पानी तलहटी में पहुंच गया था। हालांकि 2023 में भी सभी बांधों में जलभराव की कमी नहीं रही, लेकिन गर्मियों में पानी तलहटी में पहुंच गया था।
औसत बारिश भी घटी
हर वर्ष औसत बारिश घट रही है। जिले की औसत बारिश 42.3 इंच है, लेकिन 2021 में 35 और वर्ष 2020 में 39 इंच बारिश दर्ज हुई थी। लगातार बारिश कम होने से प्रदेश के 9 जिलों समेत छतरपुर जिला पिछले साल रेड जोन में आ गया था। भू-अभिलेख विभाग के रिकॉर्ड के मुताबिक जिले में 1 सितंबर 2022 तक कुल 29.9 इंच बारिश दर्ज हुई है, जो जिले के औसत 42.3 इंच से 13 इंच कम है। वहीं, 2023 में औसत बारिश 32 इंच हुई, जो औसत से 10 इंच कम है।
फैक्ट फाइल
सागर संभाग के कुल 37 बांधों की स्थिति
जल स्तर की स्थिति बांधों की संख्या
10 प्रतिशत से कम स्टॉक वाले बांध – 27
10 से 25 प्रतिशत तक स्टॉक वाले बांध – 04
25 से 50 प्रतिशत तक स्टॉक वाले बांध- 05
50 से 75 प्रतिशत तक स्टॉक वाले बांध- 01
75 से 90 प्रतिशत तक स्टॉक वाले बांध- 00
90 प्रतिशत से अधिक स्टॉक वाले बांध- 00