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शीला दीक्षित को हुई थी 23 दिनों की जेल, लगे थे ये 10 आरोप

Allegation on Sheila Dikshit : 2009 में सरकारी विज्ञापन के लिए सरकार की ओर से दिए गए रुपयों के गलत इस्तेमाल का आरोप लगा था कॉमनवेल्थ गेम्स में स्ट्रीट लाइट में हुए घोटाले को लेकर शीला दीक्षित का नाम आया था सामने

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Soma Roy

Jul 20, 2019

Sheila Dikshit death

नई दिल्ली। दिल्ली की पूर्व मुख्यमंत्री शीला दीक्षित का निधन हो गया है। वो 81 साल की थीं। वो लंबे समय से बीमार चल रही थीं। कांग्रेस की कद्दावर नेता रहीं शीला दीक्षित को राजनीति में उनके बेबाक अंदाज के लिए जाना जाता था। उन्होंने दिल्ली के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। अपने सियासी सफर में उन्हें कई उतार-चढ़ाव भी देखने को मिले। एक बार उन्हें 23 दिनों की जेल की सजा तक काटनी पड़ी थी।

1.शीला दीक्षित शुरू से ही हक के लिए लड़ना जानती थीं। तभी उन्होंने महिलाओं पर होने वाली हिंसा के खिलाफ अभियान शुरू किया था। उन्होंने ये मुहिम करीब 80 सहयोगियों के साथ सन् 1990 में शुरू की थी। इसके चलते उन्हें 23 दिनों की जेल की सजा हुई थी।

2.साल 2009 में शीला दीक्षित पर सरकारी रुपयों के दुर्पयोग की शिकायत दर्ज करार्इ गर्इ थी। आरोप लगाया गया था कि शीला ने केंद्र सरकार की ओर से राजनीतिक विज्ञापन के लिए दिए गए 3.5 करोड़ रुपए का गलत इस्तेमाल किया था।

3.साल 2013 में भी शीला दीक्षित को राजनीतिक सफर में मुसीबत झेलनी पड़ी थी। उनके खिलाफ सरकारी फंड के दुरुपयोग के आरोप लगे थे। इस सिलसिले में उनके खिलाफ एफआईआर भी दर्ज कराई गई थी।

4.साल 2010 में दिल्ली में बिजली के टैरिफ रेट बढ़ाए जाने को लेकर बीजेपी ने शीला दीक्षित के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई थी। बीजेपी ने शीला दीक्षित को अपने पद का फायदा उठाने और अपने करीबियों का मुनाफा कराने का आरोप लगाया था।

5.शीला दीक्षित पर बस शेल्टर डील में घालमेल का भी आरोप लगा था। इसके चलते सुप्रीम कोर्ट ने शीला को जिम्मेदार भी ठहराया था। कोर्ट के मुताबिक शीला दीक्षित की ओर से JCDecaux को कॉट्रैक्ट देने के लिए उनका नामांकन क्लियर करना गलत था।

6.साल 2009 में शीला दीक्षित को जेसिका लाल मर्डर केस के दोषी मनु शर्मा को पेरोल की अनुमति दिए जाने पर भी आलोचनाओं का सामना करना पड़ा था। उन पर एक हत्यारे का साथ देने के आरोप लगे थे।

7.साल 2010 में दिल्ली में हुर्इ कॉमनवेल्थ गेम्स में विदेशों से मंगार्इ गर्इ स्ट्रीट लाइट्स में हुए घपले में भी शीला दीक्षित का नाम सामने आया था। कैग की रिपोर्ट के मुताबिक शीला दीक्षित ने इस मसले पर अनियमितता बरती थी।

9.शीला दीक्षित पर घर को गैर कानूनी ढ़ंग से बनाए जाने का भी आरोप लगा था। ये इल्जाम उन्हीं की पार्टी के नेता रामबाबू गुप्ता ने लगाया था। उस दौरान रामबाबू कांग्रेस के अध्यक्ष थे। मगर मामले की जांच करने पर कोई सबूत नहीं मिले थे।

10.दिल्ली की पूर्व मुख्यमंत्री शीला दीक्षित पर टैंकर घोटाले का भी आरोप लगा था। उन पर 400 करोड़ रुपए के कथित टैंकर घोटाले की जांच सीबीआई या एंटी करप्शन ब्रांच (एसीबी) से करवाने की सिफारिश की गई थी।