
Thyroid Eye Symptoms
Thyroid Eye Symptoms : थायरॉइड एक ऐसी बीमारी है यदि इस पर समय पर ध्यान नहीं दिया जाता है तो यह गंभीर कारण बन सकती है। थायरॉइड (Thyroid Eye Symptoms) का सबसे अधिक खतरा महिलाओं में देखने को मिलता है। थायरॉइड होने पर हमें कई परेशानियों का सामना करना पड़ता है और तब तक करना पड़ता है जब तक कि इसका निदान नहीं कर लिया जाता है। थायरॉइड का पता चलने पर इसका उपचार कराना सरल हो जाता है। थायरॉइड होने पर हमारी आंखें कुछ संकेत बया करने लग जाती है लेकिन लोग इन्हें नजरअंदाज कर देते हैं जो आपके लिए घातक हो सकता है।
शरीर की गतिविधि थायरॉइड हार्मोन का रूप होती है। इसलिए इसे एक बीमारी नहीं शरीर का एक महत्वपूर्ण अंग माना जाता है। थायरॉइड ग्रंथि गले के निचले हिस्से में होती है। इस ग्रंथि का काम थायराइड हार्मोन का स्राव करना होता है। जो शरीर के विभिन्न कार्यों जैसे रक्तचाप, हृदय की धड़कन, यौन इच्छा, मासिक धर्म, गर्भावस्था, खुशी और दुख को नियंत्रित करती है।
जब थायराइड ग्रंथि हार्मोन का स्राव करने में असंतुलित हो जाती है, यानी जब यह अधिक या कम हार्मोन का उत्पादन करने लगती है, तो इसे थायराइड रोग कहा जाता है।
थायरॉइड मरीजों में कभी कभार इम्यून सिस्टम संक्रमण से निपटने के बजाय थायरॉइड ग्रंथि पर हमला कर देता है, जिसके कारण थायरॉइड आवश्यकता से ज्यादा या कम होने लगता है, जिसके कारण हमारी आंखे प्रभावित हो जाती है।
विशेषज्ञों का मानना है कि थायरॉइड आई डिजीज (Thyroid Eye Symptoms) एक प्रकार की ऑटोइम्यून बीमारी होती है जिसके कारण आंखों के चारों ओर का क्षेत्र व ऊतक प्रभावित होने लगते है। जिसके कारण हमारी आंखें बाहर की और उभरी हुई दिखाई देने लगती है।
जब आपको हाइपरथायरायडिज्म होता है तो इसके कारण आंखों की दृष्टि (Thyroid Eye Symptoms) में कमी आने लगती है, जिसके कारण धुंधलापन दिखाई देने लगता है। इसके अलावा थायरॉइड की समस्या होने पर आंखों में दर्द और तनाव जैसी स्थिति होने लगती है।
जब थायरॉइड का लेवल कम या ज्यादा होने लगता है तो इसके कारण आंखें अंदर (Thyroid Eye Symptoms) की ओर धसने लगती है। जिसके कारण आंखें छोटी के साथ धंसी हुई प्रतीत होने लगती है।
डिसक्लेमरः इस लेख में दी गई जानकारी का उद्देश्य केवल रोगों और स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के प्रति जागरूकता लाना है। यह किसी क्वालीफाइड मेडिकल ऑपिनियन का विकल्प नहीं है। इसलिए पाठकों को सलाह दी जाती है कि वह कोई भी दवा, उपचार या नुस्खे को अपनी मर्जी से ना आजमाएं बल्कि इस बारे में उस चिकित्सा पैथी से संबंधित एक्सपर्ट या डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें।
Published on:
08 Nov 2024 02:35 pm
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