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जबलपुर
इसे सीखने की ललक कह सकते हैं। बेरोजगारी का आलम भी माना जा सकता है। मुख्यमंत्री सीखो कमाओ योजना में औद्योगिक और व्यावसायिक प्रतिष्ठानों में प्रशिक्षण के लिए सृजित पदों की तुलना में नौ गुना आवेदन आ गए हैं। प्रशासन को ज्यादा संख्या में प्रतिष्ठानों को जोड़कर पद सृजित करने होंगे।
जिले में 460 प्रतिष्ठान और औद्योगिक इकाइयों ने प्रशिक्षण के लिए तीन हजार 52 पद निकाले हैं। इसकी तुलना में अभी तक 27786 अभ्यर्थियों ने पंजीयन करा दिया है। सभी उम्मीदवारों को इन संस्थानों में प्रशिक्षण के साथ स्टाइपेंड देना चुनौती भरा लग रहा है। इसलिए अतिरिक्त संस्थानों से सम्पर्क का प्रयास किया जा रहा है। ताकि, वहां भी प्रशिक्षण मिल सके।
वैकेंसी के मामले में चौथा स्थानपदों के मामले में जबलपुर जिला पूरे प्रदेश में चौथे स्थान पर है। इससे पहले इंदौर, भोपाल और धार है। पहले चरण में युवाओं का पंजीयन किया जा रहा है। प्रतिष्ठानों को ऑन द जॉब ट्रेनिंग (ओजेटी) की सुविधा देनी है। इसमें प्रशिक्षण प्राप्त करने वाले अभ्यर्थियों को मप्र राज्य कौशल विकास एवं रोजगार निर्माण बोर्ड की ओर से स्टेट काउंसिल फॉर वोकेशनल ट्रेनिंग का प्रमाण पत्र दिया जाएगा।
ल्रगातार बढ़ रहे आवेदन पत्र
इस योजना का लाभ उठाने के लिए जिले में आवेदनों की संख्या लगातार बढ़ रही है। इसमें चयन होने पर उद्योग और व्यापार से जुड़ी नई तकनीक और प्रक्रिया से अवगत कराया जाएगा। प्रशिक्षण की अवधि के दौरान आठ से 10 हजार रुपए तक का स्टाइपेंड दिया जाएगा। इसलिए भी इस योजना का आकर्षण है।
मेरिट का लेना पडे़गा सहाराज्यादा आवेदनों के साथ ही प्रतिष्ठानों की जरूरतों का ध्यान रखते हुए उम्मीदवारों के आवेदनों में मेरिट का फाॅर्मूला अपनाया जा सकता है। इसमें उनके अंकों से लेकर इंटरव्यू का सहारा लेने की योजना पर काम हो रहा है। वे तय समय तक प्रशिक्षण लेंगे या नहीं, इसमें उनकी अभिरुचि भी देखी जाएगी।
अब इन क्षेत्रों में भी तलाश-रेडीमेड गारमेंट इंडस्ट्री
- होटल एंड रेस्टोरेंट।- मॉल और डिपार्टमेंटल स्टोर।
- टूरिस्ट एंड ट्रेवल्स एजेंसी।
वर्जन.....अधिक संख्या में युवाओं को औद्योगिक एवं व्यावसायिक प्रतिष्ठानों में प्रशिक्षण का अवसर मिले, इसके प्रयास किए जा रहे हैं। प्रतिष्ठान अपनी जरूरत और उनकी योग्यता के आधार पर अपने यहां रखेंगे। अतिरिक्त् आवेदनों को देखते हुए, दूसरे क्षेत्रों को जोड़ने का प्रयास कर रहे हैं।
जयति सिंह, सीईओ, जिला पंचायत
योजना की खासियत- 18 से 29 वर्ष के युवा होंगे पात्र।
- मप्र का मूल निवासी होना जरूरी।-12वीं, आइटीआई या उससे उच्च शिक्षा।
- छह से 18 माह तक का प्रशिक्षण-आवेदन की अंतिम तिथि घोषित नहीं
- प्रशिक्षण के दौरान स्टाइपेंड मिलेगा।- प्रतिष्ठानों का पैन व जीएसटी पंजीयन जरूरी।
Published on:
31 Jul 2023 12:07 pm
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