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जबलपुर

जिन महिलाओं के ये 7 अंग बड़े होते हैं, वे होतीं हैं बेहद…

जिन महिलाओं के ये 7 अंग बड़े होते हैं, वे होतीं हैं बेहद…

जबलपुरMay 15, 2018 / 03:58 pm

Premshankar Tiwari

bhagyashali ladkiyon ki nishani

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जबलपुर। भारतीय संस्कृति में महिलाओं को पूज्य माना गया है। उन्हें सबसे उच्च सम्मान प्राप्त है। यही वजह है कि हमारे यहां कन्याओं के पूजन की परंपरा है। वैदिक व्यवस्था में तो धन का विभाग लक्ष्मीजी, विद्या का विभाग माता सरस्वती और शक्ति का विभाग माता महाकाली को दिया गया है। ये तो रही वेदों की बात.. अब हम गरुण पुराण, पुराण और सामुद्रिक शास्त्र की बात करें तो इनमें महिलाओं और गृहणियों के अंगों के बारे में विस्तृत रूप से प्रकाश डाला गया है। हर महिला की अपनी एक खासियत होती है। उसका कौन सा लक्षण किस पुरुष के लिए बेहतर या भाग्य बदलने वाला होगा..? इस सवाल के जवाब भी सामुद्रिक शास्त्र में हैं। इसमें महिलाओं के बालों से लेकर पैर के नाखूनों तक की स्थिति और उसका फल बताया गया है। इसमें महिलाओं के बड़े अंगों का भी अलग-अलग फल बताया गया है। शायद यही वजह है कि जब हमारे घर के बुजुर्ग विवाह के लिए लड़की देखने जाते हैं तो वे शारीरिक सुंदरता की बजाय बालिका के शारीरिक अंगों और लक्षणों पर अधिक गौर करते हैं। आइए आपको भी बताते हैं कि महिलाओं के कौन से बड़े अंग पति और परिवार के भाग्य को बदलने वाले और शुभकारक होते हैं।

लंबे ओर बड़े बाल
शास्त्रों में वर्णित है कि लंबे बालों वाली महिलाएं पदमनी होती हैं अर्थात उच्च कोटि की होती हैं। लंबे और रेशमी बाल शुभता और सौंदर्य का प्रतीक हैं। भगवती देवी का कोई भी चित्र या प्रतिमा देखें तो पाएंगे कि उनके बाल लंबे होते हैं। लम्बे बालों वाली महिलाएं पति के लिए भाग्यशाली साबित होती हैं।

लम्बी गर्दन
सामुद्रिक शास्त्र में लंबी गर्दन वाली महिलाओं को मंगलकारी माना गया है। ज्योतिषाचार्य पं. रामसंकोची गौतम के अनुसार जिन महिलाओं की गर्दन लम्बी होती है, वे ऐश्वर्यशालिनी होती हैं। इनके पास संपूर्ण वैभव होता है। इनके रहते पति को कभी पैसों की कमी नहीं आती।

ऊंचा वक्ष स्थल
सामुद्रिक शास्त्र व भविष्य पुराण में लिखा है कि ऊंचे, सुडौल व बड़े वक्ष स्थल वाली स्त्रियां सौभाग्यशालिनी होती हैं। इनके सुडौल वक्ष स्थल धन, समृद्धि व सौभाग्य के प्रतीक हैं। ज्योतिषाचार्य पं. जनार्दन शुक्ल के अनुसार प्राचीन देवी प्रतिमाओं में आप देखें तो शिल्पकारों ने बड़े वक्ष स्थलों को ही सौभाग्य के रूप में प्रस्तुत किया है। बड़े वक्ष स्थल वाली महिलाएं पति के लिए एक तरह से तारणहार होती हैं। इनकी संतान भी अपेक्षाकृत ज्यादा बेहतर और सफल होती है।

मांसल और पुष्ट जंघाएं
मांसल और पुष्ट जंगाएं भी सौभाग्य प्रतीक हैं। सामुद्रिक शास्त्र के अनुसार जिन महिलाओं की जंघाएं पुष्ट व मांसल होती हैं, वे वैभवशाली होती हैं। इनके कारण ही पति को मकान और वाहन आदि का सुख बेहतर ढंग से प्राप्त होता है। पतली व विकृत जंघाओं को शास्त्रों में अच्छा नहीं माना गया है।

बड़ी आंखें
बड़ी आंखें महिलाओं के लिए सौभाग्य का प्रतीक होती हैं। ज्योतिषाचार्य पं. दिनेश शास्त्री के अनुसार गरुण पुराण में लिखा है कि बड़ी आंखों वाली महिलाएं विदुषी, विवेकशील और बेहद समझदार होती हैं। ये पूरे परिवार के लिए शुभ होती हैं और विपत्ति आने पर अपनी सूझ-बूझ से पूरे परिवार को संभाल लेती हैं। इनके रहते घर में धन की कमी नहीं होती।

लम्बी नाक
सामान्य से कुछ लंबी नाक वाली महिलाएं गंभीर और शांत स्वभाव की होती हैं। ये हर विपत्ति का सामना करने में सक्षम होती हैं। इनके कारण पूरा परिवार सुरक्षित रहता है। इसी सामान्य सिर और सामान्य आकार के कान वाली महिलाएं परिवार के लिए अच्छी मानी जाती हैं।

पैर और अंगुलियां
सामुद्रिक शास्त्र में महिलाओं के हाथ और पैरों के आकार को विशेष महत्व दिया गया है। ज्योतिषाचार्यों के अनुसार सामान्य आकार के चिकने पैरों वाली महिलाएं एक तरह से लक्ष्मी स्वरूप होती हैं। इनके पैरों की सबसे छोटी अंगुली कुछ लम्बी और भूमि को स्पर्श करती हुई होती है। ये महिलाएं बेहद सौभाग्यशाली और पति के लिए लकी होती हैं। इसी तरह हाथों की मध्यम आकार की अंगुलियों और चिकने हाथों वाली महिलाएं भी पति के लिए बेहर लकी साबित होती हैं।

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