नए निवेश को प्रोत्साहन
जो देश कोरोना से ज्यादा प्रभावित हैं, वहां काम कर रहीं बहुराष्ट्रीय औद्योगिक एवं सर्विस क्षेत्र की कंपनियां सुरक्षित जगह की तलाश में जुट गई हैं। यह कंपनियां भविष्य में मध्यप्रदेश के अलग-अलग शहरों में निवेश करें इसके लिए प्रयास किए जा रहे हैं। नए निवेश को प्रोत्साहित करने के लिए प्रदेश सरकार ने श्रम कानूनों में भी बदलाव किया है। इसी को ध्यान में रखते हुए मध्यप्रदेश इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट कारपोरेशन (एमपीआइडीसी) लिमिटेड के जबलपुर स्थित क्षेत्रीय कार्यालय ने भी अपने यहां की संभावना, सुविधा और जमीन की उपलब्धता की जानकारी प्रदेश सरकार को भेजी है।
यह है स्थिति
– सम्भाग में 7500 एकड़ से ज्यादा अविकसित जमीन।
– 300 एकड़ आवंटन योग्य जमीन सभी जिलों में।
– एक जगह 200 से 500 एकड़ जमीन उपलब्ध।
– जबलपुर में उमरिया-डुंगरिया में 63 हेक्टेयर का नया औद्योगिक क्षेत्र।
कई तरह की खासियत
भविष्य को देखते हुए यह तैयारी की जा रही है। जबलपुर और संभाग के दूसरे जिलों में उपलब्ध जमीन के अलावा विशेषताओं की जानकारी भी भेजी गई है। जबलपुर में ज्यादा जमीन, सस्ता श्रम, औद्योगिक माहौल, निवेश के लिए कई क्षेत्र, दक्ष कर्मचारी, सडक़, रेल एवं हवाई मार्ग की सुविधा, भरपूर पानी और बिजली आदि की उपलब्धता है।
अविकसित भूमि का लैंड बैंक
जिला-कुल भूमि
जबलपुर 400
कटनी 1200
छिंदवाड़ा 40
नरसिंहपुर 365
बालाघाट 130
सिवनी 600
(भूमि का क्षेत्रफल हेक्टेयर में)
औद्योगिक क्षेत्रों में स्थित भूमि
जिला–कुल भूमि–विकसित भूमि
जबलपुर 600 293
कटनी 227 175
मंडला 517 517
सिवनी 675 61
छिंदवाड़ा 304 270
(भूमि का क्षेत्रफल हेक्टेयर में)
संभाग में नए उद्योगों के लिए भरपूर संभावनाएं हैं। जबलपुर सहित करीब सभी जिलों में पर्याप्त लैंड बैंक तैयार किया है। विकसित और विकसित दोनों प्रकार की जमीन हैं। शासन ने इसकी जानकारी मांगी थी, उसे भेजा गया है।
सीएस धुर्वे, कार्यकारी संचालक, एमपीआईडीसी जबलपुर