आरोपी शराब ठेकेदार के लिए ही काम करते थे
दलित युवक की हत्या करने के आरोपी शराब ठेकेदार के लिए ही काम करते थे। युवक रामेश्वर वाल्मीकि के ठेके के अलावा हथकढ़ शराब खरीदने से नाराज होने पर ही उसे उल्टा लटकाकर बर्बरतापूर्वक मारपीट कर उसकी हत्या की थी। मामले में पुलिस मुय आरोपी सुभाष उर्फ चिंटू मेघवाल व सतीश उर्फ सीताराम उर्फ सुखा निवासी बलोदा व इनके सहयोगी आरोपी दीपेंद्र उर्फ चिंटू राजपूत, प्रवीण कुमार उर्फ पीके मेघवाल निवासी बलोदा व प्रवीण उर्फ बाबा मेघवाल निवासी उरीका को गिरतार कर चुकी है। जबकि एक नाबालिग को निरूद्ध किया गया है।
पहले सीधी संलिप्तता नहीं मानी थी
आबकारी विभाग की ओर से शराब ठेकेदार का तीन दिन के लाइसेंस निलंबित किया गया। जबकि आबकारी विभाग ने ठेकेदार की मामले में सीधी संलिप्तता नहीं मानी। जबकि हत्या के आरोपी युवक शराब ठेकेदार के लिए बतौर सैल्समेन व नौकर के तौर पर कार्य कर रहे थे। ठेके से शराब नहीं खरीदने से नाराज होकर ही हत्या करने की बात सामने आई है।
एक और आरोपी को भिवानी से पकड़ा
पुलिस ने मामले में एक और आरोपी को पकड़ा है। शुक्रवार को पुलिस टीम ने भिवानी में दबिश देकर एक संदिग्ध भवानीसिंह निवासी बलौदा को पकड़ा है। उससे पूछताछ की जा रही है।
अवैध शराब पर कार्रवाई करने पहुंची आबकारी पुलिस की टीमें बैरंग लौटी
सूरजगढ़. आबकारी विभाग की टीम बलौदा गांव में हथकढ़ शराब बनाने वालों के खिलाफ कार्रवाई के लिए पहुंची। लेकिन टीम के पहुंचने से पहले ही सूचना पहुंच गई और हथकढ़ शराब के कारोबार से जुड़े लोग भी भूमिगत हो गए। हथकढ़ शराब और उपकरण गायब कर दिए गए। आबकारी विभाग की टीम ने पुलिस के साथ मिलकर चार-पांच जगहों पर दबिशें दी और दो घंटे तक खानापूर्ति की। इस दौरान टीम को कुछ हाथ नहीं लगा। टीम आबकारी विभाग के डिप्टी लक्ष्मीनारायण के नेतृत्व में कार्रवाई के लिए पहुंची थी। इसमें चिड़ावा, सूरजगढ़, झुंझुनूं की आबकारी टीम के अलावा सूरजगढ़ थाना पुलिस भी शामिल रही। लेकिन टीम के पहुंचने से पहले शराब माफियाओं को भनक लगने से कई सवाल खड़े हो गए कि आखिर शराब माफियाओं तक सूचना पहुंची कैसे।