राजनाथ सिंह का बड़ा बयान, बालाकोट में आतंकी ठिकानों को खत्म करने के लिए सेना तैयार दरअसल मनोज तिवारी कई बार दिल्ली में भी असम की तरह एनआरसी लागू करने की मांग कर चुके हैं.। मनोज तिवारी का मनना है कि राजधानी में बहुत से घुसपैठिए हैं, जिन्हें बाहर किया जाना जरूर है। आज जब इस बारे में सीएम केजरीवाल को सवाल किया गया, तो जवाब में उन्होंने कहा कि अगर दिल्ली में एनआरसी लागू हुई तो सबसे पहले मनोज तिवारी को ही दिल्ली छोड़नी पड़ेगी।’
मनोज तिवारी ने केजरीवाल के इस बयान पर पलटवार किया है। उन्होंने हैरानी जताते हुए तंज कसा कि ये कैसे एक आईआरएस अधिकारी है, जिन्हें यह भी नहीं पता कि एनआरसी क्या है? तिवारी ने केजरीवाल से पूछा, ‘क्या अन्य राज्यों से पलायन करने वाले लोगों को आप विदेशी मानते है? क्या आप उन्हें दिल्ली से खदेड़ना चाहते हैं?’ तिवारी ने कहा कि- ‘आप भी उन्ही में से हैं। अगर वे इसका मतलब नहीं जानते, तो इसका मतलब हुआ कि वे अपना मानसिक संतुलन खो चुके हैं। एक IRS ऑफिसर आखिर कैसे नहीं जानता है कि एनआरसी क्या है?’
नई दिल्ली और काबुल की दोस्ती में मिठास भरेगा ‘अफगानी प्याज’ दूसरी ओर, हाल ही में आम आदमी पार्टी से भाजपा में शामिल हुए कपिल मिश्रा ने भी केजरीवाल को इस मुद्दे पर आड़े हाथों लिया। उन्होंने कहा कि- एनआरसी का मतलब नेशनल रजिस्टर ऑफर सिटिजन (NRC) है न कि दिल्ली सिटिजन रजिस्टर जिससे भारत के नागरिकों को ही बाहर जाना पड़े। उन्होंने यहां तक कहा कि केजरीवाल अनपढ़ों जैसी बातें कर रहे हैं।
बता दें कि केजरीवाल बिजली बिल को लेकर प्रेस कॉन्फ्रेंस कर रहे थे। इस दौरान उन्होंने घोषणा की कि- ‘हमने मुख्यमंत्री किराएदार बिजली मीटर योजना (CM Electricity meter scheme) बनाई है। किराएदारों के यहां प्रीपेड मीटर लगाए जाएंगे। जो चार्जेज नॉर्मल लोगों को लगते हैं, उन्हें भी वही चार्जेज लगेंगे। खास बात यह है कि इस योजना के तहत किराएदार अपना अलग से प्रीपेड मीटर लगवा सकता है। इसके लिए उसे मकान मालिक से एनओसी लेने का इंतजार नहीं करना पड़ेगा। इससे उसे दिल्ली में लागू सस्ती बिजली दरों का लाभ मिल सकेगा। मीटर के लिए उसे रेंट अग्रीमेंट की कॉपी और उस पते का आईडी प्रूफ देना होगा।