डाक्टर्स बताते हैं कि मौसम में आए बदलाव के कारण लोगों का स्वास्थ्य खराब हो रहा है। कोल्ड वायरस के कारण मरीजों का साधारण मर्ज भी जल्द ठीक नहीं हो पा रहा है। बदले वायरस से मरीजों की श्वांस नली में सूजन आ रही है। यही कारण है कि सर्दी-खांसी तक ठीक होने में 15 से 20 दिन लग रहे हैं। साधारण बुखार भी 8—10 दिन तक बना रहता है।
बदले कोल्ड वायरस का असर वायरल फीवर के मरीजों पर भी दिखाई दे रहा है. मरीज ठीक होने के बाद भी थकान या कमजोरी की शिकायत कर रहे हैं. इन मरीजों में घबराहट भी बनी हुई है। विशेषज्ञों के अनुसार एक साल या इससे छोटे बच्चों में इसका ज्यादा असर दिख रहा है। ऐसे बच्चों को सांस लेने की तकलीफ बढ़ गई है जोकि प्राय: सर्दी—खांसी से शुरु होती है।
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डाक्टर्स के अनुसार ऐसे में खासतौर पर बच्चों और बुजुर्गों को अतिरिक्त सावधान रहने की आवश्यकता है। कोल्ड वायरस की वजह से जिला अस्पताल और प्राइवेट अस्पतालों में मरीज से बढ़ने लगे हैं। जिला अस्पताल की ओपीडी नवंबर के शुरुआती 17 दिनों में 8319 मरीज आ चुके हैं। इनमें सबसे ज्यादा मरीज सर्दी-खांसी व बुखार के हैं।