- दिन में नशा कर पहुंचते खाना खाने, रसोई में ही रखे कचरा पात्र, -पत्रिका टीम ने जाने इंदिरा रसोई के हालात कोई भूखा नहीं सोए का संकल्प लिए जरुरतमंद लोगों न्यूनतम दर पर भोजन उपलब्ध कराने को संचालित इंदिरा रसोई योजना के तहत लोगों को आठ रुपए में भले ही भरपेट भोजन मिल रहा हो लेकिन संचालक भी मनमानी से बाज नहीं आ रहे।
अजमेर. कोई भूखा नहीं सोए का संकल्प लिए जरुरतमंद लोगों न्यूनतम दर पर भोजन उपलब्ध कराने को संचालित इंदिरा रसोई योजना के तहत लोगों को आठ रुपए में भले ही भरपेट भोजन मिल रहा हो लेकिन संचालक भी मनमानी से बाज नहीं आ रहे। कहीं शराब का सेवन कर लोग खाना खाने पहुंच जाते हैं तो कहीं रसोई में केवल रोटियां बनाई जाकर सब्जियां कहीं और से बनकर आती मिलीं। जबकि सबकुछ मौके पर ही तैयार होना चाहिए। रसोई संचालक शराब पीकर आने वालों को भी टोकन दे देते हैं। एक जगह तो खानाबदोश सीधे ही रसोई में बिना फोटो खिंचवाए भोजन कक्ष की ओर बढ़ गया। पत्रिका टीम की मौजूदगी के चलते उसे काउंटर पर बैठे स्टाफ ने टोका। इसके बाद फोटो खिंचवाकर नया टोकन दिया गया।
केस-1
बदबूदार माहौल
पुष्कर रोड विश्राम स्थली के पहले झील से सटे खुले भाग में संचालित इंदिरा रसोई के आसपास झील के किनारे फैले कचरे व पानी की बदबू आ रही थी। वातावरण दूषित था। सांस लेने में बदबू का एहसास हो रहा था।शाम के भोजन में संख्या अधिक
पुष्कर रोड स्थित इंदिरा रसोई में भोजन कर रहे मोहन ने बताया कि भोजन ठीक है लेकिन मसाले कम हैं। काउंटर संचालक बनवारी लाल ने बताया कि सुबह के समय 70-80 लोग भोजन करते हैं। शाम को मजदूरी कर लौटने वाले लोगों की भीड़ ज्यादा रहती है। करीब 200 से 250 लोग रोजाना भोजन करते हैं। शेष व्यवस्थाएं सामान्य थीं। आरओ का पानी सभी जगह मिला।
केस-2सार्वजनिक शौचालय नजदीक
रेलवे स्टेशन के बाहर बनी इंदिरा रसोई से सटे सार्वजनिक शौचालय की बदबू भी रसोई में भोजन करते वक्त आ रही थी। मुख्य मार्ग पर यातायात की समस्या रहती है। एक खानाबदोश बगैर फोटो खिंचवाए सीधा भोजन कक्ष में प्रवेश कर गया। पत्रिका टीम की मौजूदगी के चलते काउंटर पर बैठी सोनिया ने उसे टोक कर दोबारा फोटो खिंचवाने के बाद नया टोकन आवंटित किया। खाने की टेबल के पास ही झूठी थालियों का ड्रम रखा था। जिसमें मक्खियां भिनभिना रहीं थीं।
केस-3बेहतर इंतजाम
घूघरा घाटी पर बनी इंदिरा रसोई में लोग भोजन करते पाए गए। स्थान भी पर्याप्त था। सफाई उचित पाई गई। यहां मौजूद पार्षद नरेन्द्र तुनवाल ने बताया कि भोजन की गुणवत्ता उचित है कई बार सब्जियों में झोल अधिक होता है।
इनका कहना है
भोजन के लिए किसी को मना नहीं किया जा सकता। कोई उत्पात मचाता है तो उसे पुलिस से पाबंद कराया जाएगा। कई स्थानों पर जगह कम होने से कचरा पात्र आदि भी रखने पड़ते हैं। सफाई का ख्याल रखा जाएगा।
पवन कुमार मीणा, राजस्व अधिकारी नगर निगम व प्रभारी इंदिरा रसोई।