मौनी अमावस्या पर महाकुंभ में शाही स्नान होगा। इसके लिए देश भर से लाखों लोगों का हुजूम महाकुंभ में लगा हुआ है। शहर से भी हजारों की संख्या में श्रद्धालु मौनी अमावस्या के शाही स्नान के लिए पहुंचे हैं।साल में पड़ने वाली प्रमुख अमावस्या में माघ माह की इस अमावस्या का विशेष महत्व है। इसमें तीर्र्थों में स्नानदान का विशेष महत्व माना गया है।
Mahakumbh 2025 : तीर्थों में स्नानदान, देव आराधना, मौन साधना, पितरों के निमित्त तर्पण के लिए विशेष फलदायी मौनी अमावस्या बुधवार को है। साल में पड़ने वाली प्रमुख अमावस्या में माघ माह की इस अमावस्या का विशेष महत्व है। इसमें तीर्र्थों में स्नानदान का विशेष महत्व माना गया है। इस समय प्रयागराज में महाकुंभ चल रहा है, ऐसे में इस पर्व पर कुंभ स्नान के लिए शहर से हजारों श्रद्धालु पहुंच रहे हैं। इस बार कई सालों बाद कुंभ योग में मौनी अमावस्या(Mauni Amavasya) का संयोग आ रहा है।
मौनी अमावस्या पर महाकुंभ(Mahakumbh 2025) में शाही स्नान होगा। इसके लिए देश भर से लाखों लोगों का हुजूम महाकुंभ में लगा हुआ है। शहर से भी हजारों की संख्या में श्रद्धालु मौनी अमावस्या(Mauni Amavasya) के शाही स्नान के लिए पहुंचे हैं। लोग बस, टैक्सी, निजी वाहनों के साथ-साथ ट्रेनों से प्रयागराज पहुंच रहे है।
ज्योतिष मठ संस्थान के पंडित विनोद गौतम ने बताया कि स्नानदान, श्राद्ध के लिए विशेष महत्व है। इस समय प्रयाग में महाकुंभ है, साथ ही बुधवार को कुंभ योग बन रहा है, जो 144 साल बाद मौनी अमावस्या पर बना है। इस दौरान मकर राशि पर सूर्य, चंद्र एवं वृष राशि में गुरु रहेंगे। इस योग में पवित्र नदियों पर स्नान करना विशेष पुण्यफलदायी है। मौनी अमावस्या पर पवित्र नदियों, संगम पर स्नान करना विशेष शुभ होता है। साथ ही देव पितृ कार्य करना, स्नानदान, दान करने का विधान है।
मौनी अमावस्या(Mauni Amavasya) पर पवित्र स्नानदान के साथ-साथ मंदिरों में भी विशेष पूजा अर्चना और देव आराधना की जाएगी। वहीं श्रद्धालु पितरों के निमित्त तर्पण, दान पुण्य करेंगे। शहर के बांके बिहारी मार्कंडेय मंदिर तलैया में मौनी अमावस्या पर ठाकुरजी का विशेष शृंगार किया जाएगा। मंदिर के पं. रामनारायण आचार्य ने बताया कि इस मौके पर मंदिर में 100 से अधिक श्रद्धालु मौन व्रत रखेंगे। वहीं गुफा मंदिर लालघाटी मंदिरों में अनुष्ठान होंगे।