MP News:मुख्य सचिव अनुराग जैन ने मंगलवार को मिशन के कामों की समीक्षा की। पीएचई के प्रमुख सचिव पी नरहरि से सवाल-जवाब किए। जल जीवन मिशन में गड़बड़ी पर अफसर, ठेकेदार और एजेंसियां कार्रवाई की जद में हैं। उपयंत्री से लेकर कार्यपालन यंत्री स्तर तक के 141 अधिकारियों को कारण बताओ नोटिस।
MP News: जल जीवन मिशन में गड़बड़ी पर अफसर, ठेकेदार और एजेंसियां कार्रवाई की जद में हैं। 280 एजेंसियों को ब्लैकलिस्ट किया गया है। इन्हें दूसरे विभागों में काम नहीं मिलेगा। असल में मध्यप्रदेश के मुख्य सचिव अनुराग जैन ने मंगलवार को मिशन के कामों की समीक्षा की। पीएचई के प्रमुख सचिव पी नरहरि से सवाल-जवाब किए। उन्होंने कार्रवाई की जानकारी दी। समीक्षा में सामने आया कि अफसर, ठेकेदार और एजेंसियों के गठजोड़ ने गुणवत्ताविहीन सामग्री सप्लाई की। टेंडर प्रक्रिया का उल्लंघन किया। पांच ने तो फर्जी बैंक गारंटी जमा कर दी। अफसरों ने समय रहते नहीं पकड़ा। मुख्य सचिव ने कहा कि आगे लापरवाही बर्दाश्त नहीं होगी। यदि किसी ने गलती या लापरवाही की है तो जीरो टॉलरेंस नीति के तहत कड़ी कार्रवाई की जाए। हालांकि मुख्य सचिव ने मिशन के जिन कामों पर अच्छी प्रगति पर संतोष भी जाहिर किया।
बता दें केंद्र सरकार ने पिछले एक साल से बजट रोक रखा है। माना जा रहा है कि यह बैठक उसी फंड को पाने और कामों में सुधार की दृष्टि से ली गई। इससे पहले अक्टूबर 2024 में दीपावली से पहले 600 करोड़ रुपए केंद्र ने जारी किए थे। दूसरी दीपावली भी निकल गई, लेकिन पैसा नहीं आया। केंद्र से लगातार पत्राचार किया जा रहा है।
मिशन के कामों में गड़बड़ी पर विधानसभा सत्र में तीन बार मुद्दा उठ चुका है। विपक्ष ने कहा था कि योजना पर पलीता लगा दिया गया। सदस्यों ने जांच के लिए विधायकों की मौजूदगी वाली समितियां बनाने की मांग की थी। इसका सत्ता पक्ष के विधायक गोपाल भार्गव ने भी समर्थन किया था।