National Food Security Scheme: केंद्र सरकार की ओर से राजस्थान की वर्ष 2011 की जनगणना के अनुसार खाद्य सुरक्षा योजना के तहत लाभार्थियों को चयनित किया गया। इसकी सिलिंग 4.46 करोड़ तय की गई है।
पंकज वैष्णव
गरीबों को सस्ता अनाज देने के लिए 11 साल पहले शुरू की गई खाद्य सुरक्षा योजना में पिछले ढाई साल से नया नाम नहीं जोड़ा गया, जबकि प्रदेश में 13 लाख परिवार योजना का लाभ लेने के लिए कतार में हैं। सरकार ने लाभार्थियों की सीमा तय करके प्रक्रिया को रोक दी थी। ऐसे में सवाल यह है कि लाखों लोग 11 साल से बेझा लाभ ले रहे हैं तो उन्हें अब तक बाहर क्यों नहीं किया जा सका। लाभार्थियों की संख्या वर्ष 2011 की जनगणना के अनुसार तय की गई है, जबकि 2024 तक नए लाभार्थी जुडऩा स्वाभाविक है। फिर भी नए नाम जोडऩे की प्रक्रिया शुरू नहीं हो पा रही है।
केंद्र सरकार की ओर से राजस्थान की वर्ष 2011 की जनगणना के अनुसार खाद्य सुरक्षा योजना के तहत लाभार्थियों को चयनित किया गया। इसकी सिलिंग 4.46 करोड़ तय की गई है। राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम 2013 के प्रावधान के अनुसार जनसंख्या अनुसार सिलिंग तय की गई। प्रदेश के लाभार्थियों की संख्या तब ही बढ़ सकती है, जब अगली जनगणना के आंकड़े सामने आएंगे।