जयपुर

Banas River Accident: एक चूक और टोंक में आठ युवकों की हो गई मौत, काश ऐसा न करते तो आज जिंदा होते?

Tonk Banas River Accident: पुलिस ने बताया कि नदी में न प्रवेश करने वाले चेतावनी बोर्ड लगे हुए हैं। फिर भी इन लोगों ने नदी में प्रवेश किया। अगर ये लोग चेतावनी बोर्ड का पालन किए होते तो सभी की जान बच जाती।

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Jun 11, 2025
बनास नदी और मृतक के परिजन (फोटो- पत्रिका)

जयपुर: मंगलवार दोपहर एक पिकनिक उस समय दुखदाई हो गई, जब राजधानी जयपुर के आठ युवक टोंक जिले में पुराने पुल के पास बनास नदी में नहाते समय डूब गए। और सभी को मौत हो गई। तीन अन्य को स्थानीय निवासियों ने बचा लिया था।

टोंक एसपी विकास सांगवान ने बताया, घटना मंगलवार दोपहर करीब 1.15 बजे सदर थाना क्षेत्र में हुई। ये लोग 11 दोस्तों और रिश्तेदारों के साथ सैर करने जयपुर से किराए की एसयूवी में लेकर आए थे और पुराने बनास पुल के पास नदी के पास गए।

दिखाई दे रहा था पानी का उभरता हिस्सा


बनास नदी में पानी का उभरता हुआ भाग दिखाई दे रहा था। यह भाग नदी के तल में गहरे गड्ढे के कारण घातक साबित हुआ। एसपी सांगवान ने बताया, सभी लोग जयपुर के हसनपुरा, घाट गेट और पानीपेच इलाके के थे। ऐसा लगता है कि उन्होंने सोचा था कि पानी उभरा होगा। लेकिन नदी में लगभग 15 फीट की गहराई के साथ एक दलदली जगह है, जो पैरों को फंसाती है।

पिकनिक पर गए तीन सदस्य शाहरुख, सलमान और समीर को बचा लिया गया। स्थानीय लोगों ने उन्हें डूबते हुए देखा तो उन्होंने शोर मचाया और पुलिस, आपदा प्रबंधन टीमों के साथ मौके पर पहुंची। नदी से आठ शव बरामद किए गए और पोस्टमॉर्टम के लिए जिला अस्पताल भेज दिए गए।


ये करते तो बच जाती जान


एसपी सांगवान ने बताया, इस क्षेत्र में लोगों को नदी में प्रवेश न करने की चेतावनी देने वाले स्पष्ट संकेत लगे हुए हैं। लेकिन इन्हें अक्सर अनदेखा कर दिया जाता है। उन्होंने कहा, बनास नदी के आसपास का एरिया खतरनाक है, जब लोग यहां आते हैं तो उन्हें इस बात का अंदाजा नहीं लग पाता कि नदी कितनी खतरनाक हो सकती है।


…फिर हमारा संपर्क टूट गया


इस घटना ने कई परिवारों को तबाह कर दिया है। नौशाद के भाई दिलशाद ने कहा, मेरा भाई नौशाद अपने बहनोई रिजवान के साथ रात करीब एक बजे निकला था। उसने सुबह फोन करके बताया कि वे टोंक पहुंच गए हैं। उसके बाद हमारा सारा संपर्क टूट गया। मंगलवार शाम को पोस्टमॉर्टम के बाद शव परिजनों को सौंप दिए गए।


मासूम के सिर से उठा पिता का साया


घाटगेट के नवाब का चौराहा निवासी रिजवान (29) की मौत की सूचना परिजन को दोपहर दो बजे के बाद लगी, जिसे सुनकर पत्नी सायरा बानो बेसुध हो गईं। रिजवान का एक साल का बेटा भी है, जिसके सिर से पिता का साया उठ चुका है। रिजवान मजदूरी करता था और परिवार का सबसे छोटा बेटा था। रिजवान के पिता की भी कुछ साल पूर्व मौत हो चुकी है। रिजवान की तीन बहनें हैं। चाचा अब्दुल रशीद ने बताया, रिजवान सोमवार देर रात अपने दोस्तों और रिश्तेदारों के साथ चाकसू और टोंक के लिए पिकनिक पर निकला था।


पांच बहनों का भाई था आजाद


घाटगेट के लुहारों का खुर्रा निवासी आजाद हुसैन उर्फ बबलू (35) पांच बहनों का इकलौता भाई था। बबलू की मौत की खबर के साथ ही इलाके में मातम पसर गया। पिता इस्लामुद्दीन ने बताया कि आजाद लोडिंग गाड़ी चलाकर परिवार का भरण-पोषण करता था। वह अपने पीछे पत्नी और छह साल की एक बच्ची को छोड़ गया है।


'हमारे दोनों बेटे नहीं रहे'


पानीपेच निवासी नवाब खान (28) और छोटा भाई साजिद खान (23) की भी मौत हो गई। दोनों भाई घूमने के लिए टोंक गए थे। टोंक की बनास नदी में नहाने के दौरान दोनों भाइयों की डूबने से मौत हो गई। पड़ोसी सोहेल खान ने बताया कि ईद के दिन दोनों भाइयों से गले मिलकर ईद की मुबारकबाद दी थी, पता नहीं था ये आखिरी ईद होगी। पिता रईस ने रोते हुए कहा, उन दोनों की मौत से हमारा सब कुछ चला गया। नवाब स्कूल वैन चलाता था और साजिद कार एजेंसी में नौकरी करता था।

Published on:
11 Jun 2025 02:55 pm
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