कटनी

चार वेयरहाउस पर छापेमारी, मिली 7.34 करोड़ रुपए की धान, वैध-अवैध की शुरू हुई जांच

30 हजार 895 क्विंटल धान किसानों व व्यापारियों की बताई गई धान, दो वेयरहाउसों से नहीं मिली स्टॉक पंजी मंडी प्रबंधन ने वेयर हाउस संचालकों को पत्र लिखकर मांगी किसानों की संपूर्ण जानकारी, सत्यापन से होगा भंडाफोड़

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Nov 21, 2025
Inspection of paddy in warehouses

कटनी. शहर के कुठला थाना क्षेत्र में प्रशासन ने बुधवार रात चार बड़े वेयरहाउसों पर एक साथ छापामार कार्रवाई की। यूपी, छत्तीसगढ़ आदि बाहर की धान को खरीदकर 1 दिसंबर से शुरू होने वाली समर्थन मूल्य पर धान खरीदी में खपाने की आशंका को लेकर की गई इस जांच कार्रवाई से हडक़ंप मच गया है। अधिकारियों ने भारी मात्रा में धान का स्टॉक भंडारित पाया है। चार वेयर हाउसों में 30 हजार 993 क्विंटल धान याने कि 7 करोड़ 34 लाख 22 हजार 417 रुपए की धान भंडारित पाई गई है। प्रशासन की इस जांच से वेयर हाउस संचालक आवाक रह गए हैं।
जांच के दौरान दो वेयर हाउसों से स्टॉक पंजी नहीं मिल पाई है। मामला बड़ा होने के कारण प्रशासनिक अमला पूरी सतर्कता के साथ जांच में जुटा हुआ है। यह जांच कृष्णा वेयरहाउस, महादेव मधुर वेयरहाउस और श्री निवास वेयरहाउस व गुप्ता वेयरहाउस में दबिश दी गई है। सूत्रों की मानें तो जांच में जो धान मिली है संदिग्ध प्रतीत हो रही है। वहीं, मौके पर उत्तर प्रदेश के ट्रक खड़े मिलने से संदेह और गहरा हो गया है कि धान की अवैध आवाजाही हो रही थी। सभी वेयरहाउस से मिले धान के दस्तावेज, बिल, स्टॉक बुक और संबंधित रिकॉर्ड की गहन जांच की जा रही है ताकि यह स्पष्ट हो सके कि धान वैध खरीद का है या अवैध रूप से इक_ा किया गया था।

यहां मिली 7700 क्विंटल धान

जांच टीम सबसे पहले श्रीनिवास वेयर हाउस मझगवां रोड में पहुंची। रामहित सोनी के वेयरहाउस में जांच की। यहां पर जांच के दौरान लगभग 7740 क्विंटल धान भंडारित मिली। जब जांच अधिकारियों ने भंडारित धान के संबंध में जानकारी जुटाई तो वेयर हाउस मालिक ने यह भंडारित धान किसानों की बताई। हालांकि स्टॉक पंजी आदि रिकॉर्ड जांच टीम को उपलब्ध नहीं कराए गए। बताया गया कि किसानों की धान किराये पर स्टॉक की गई है।

2600 क्विंटल धान थी भंडारित

इसके बाद जांच टीम रामाकृष्णा वेयर हाउस मझगवां रोड में जांच की। यह वेयरहाउस पंकज गुप्ता का है। यहां पर 2658 क्विंटल धान का भंडारण पाया गया। इसमें कुछ टैक्सपेड माल व्यापारियों का रखा हुआ था, शेष धान किसानों की बताई जा रही है। श्रीनिवास वेयर हाउस व रामाकृष्णा वेयर हाउस की जांच टीम में तहसीलदार हर्षवर्धन रामटेके, सहायक खाद्य आपूर्ति अधिकारी पीयूष शुक्ला, उर्मिला धुर्वे कृषि विस्तार अधिकारी, मंडी इस्पेक्टर सीएस मरावी, प्रशांत मौर्य एएसआई मंडी ने निरीक्षण किया।

यहां मिलीं 35 हजार बोरियां

दूसरी टीम जब रीठी रोड में स्थित संजय गुप्ता के गुप्ता वेयर हाउस में पहुंची तो यहां पर बड़ी तादाद में धान भंडारित मिली। यहां पर जांच टीम को 35 हजार 681 बोरी धान मिली। 40 किलोग्राम धान की भर्ती थी। इस मान से 14 हजार 272 क्विंटल धान भंडारित मिली। यह धान किसानों की बताई गई, जिसे किराये में रखे हुए हैं। धान को मंडी में बेचते हैं या फिर समर्थन मूल्य पर बेचते हैं यह बताया गया है। कारोबारी को पत्र जारी कर किसानों की पूरी जानकारी, मात्रा की जानकारी मांगी है।

15 बोरियों का था स्टॉक

टीम इसके बाद मधुर महादेव वेयर हाउस पहुंची। प्रेमशंकर राय के वेयर हाउस में 15 हजार 808 बोरी धान भंडारित मिली। इनमें 6 हजार 323 क्विंटल धान भरी हुई थी। वेयर हाउस संचालक ने बताया कि यह धान किसानों की किराये पर रखी हुई है। कारोबारी को पत्र जारी कर किसानों की पूरी जानकारी, मात्रा की जानकारी मांगी है। गुप्ता वेयर हादस व मधुर महादेव वेयर हाउस की जांच टीम में मंडी सचिव किशोर कुमार नरगामे, मंडी इस्पेक्टर सुधीर त्रिपाठी, कनिष्ट आपूर्ति अधिकारी यज्ञदत्त त्रिपाठी, नायब तहसीलदार अतुलेश सिंह शामिल रहे।

गुप्त सूचना पर जांच

चारों वेयरहाउस कुठला क्षेत्र में स्थित हैं और लंबे समय से इनके कामकाज पर संदेह जताया जा रहा था। गुप्ता सूचना पर प्रशासन अब स्टॉक की मात्रा, धान के स्रोत, परिवहन और बिक्री के दस्तावेजों को खंगालने में जुटा है। प्रशासन का कहना है कि यह मामला बड़ा और संवेदनशील है। दस्तावेजों की जांच पूरी होने के बाद ही यह स्पष्ट होगा कि धान का स्टॉक वैध था या यह अवैध धान व्यापार का नेटवर्क है। जांच आगे बढऩे के साथ ही पूरी कार्रवाई पर जनता और किसानों की नजरें टिकी हुई हैं। किसानों की भंडारित धान के वेयर हाउस व घर में भौतिक सत्यापन से वास्तविकता का पता चलेगा।

वर्जन
गोपनीय सूचना मिलने पर चार वेयर हाउसों की जांच कराई गई है। सभी जगह बड़ी तादात में धान भंडारित मिली है। स्टॉक पंजी का सत्यापन कराया जाएगा। किसानों के यहां भौतिक सत्यापन भी कराया जाएगा। समर्थन मूल्य में खपाने के लिए बाहर की धान यहां न पहुंचे, बिचौलियों की धान न खपाई जाए, इसके लिए निगरानी कराई जा रही है।
आशीष तिवारी, कलेक्टर।

Published on:
21 Nov 2025 09:33 pm
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