UP Police Promotion: 1993 बैच के PPS अधिकारी संजय कुमार यादव की प्रोन्नति फिलहाल रोक दी गई है, क्योंकि उनके खिलाफ जांच चल रही है। इसलिए उनका प्रमोशन फिलहाल लंबित है और डीपीसी ने उनके मामले का निर्णय लेने से पहले जांच के नतीजों का इंतजार करने का फैसला किया है।
UP Police Promotion: उत्तर प्रदेश पुलिस सेवा (पीपीएस) के 24 अधिकारियों को IPS संवर्ग में प्रमोट किया गया है। सोमवार को लोकभवन में आयोजित विभागीय प्रोन्नति कमेटी (डीपीसी) की बैठक में यह महत्वपूर्ण फैसला लिया गया। वर्ष 1995 और 1996 बैच के अधिकारियों को यह प्रोन्नति दी गई है। हालांकि PPS अधिकारी संजय कुमार यादव की चल रही जांच के कारण उनके प्रमोशन पर निर्णय को फिलहाल लंबित रखा गया है, और उनका लिफाफा बंद रखा गया है।
लोकभवन में आयोजित विभागीय प्रोन्नति कमेटी की बैठक में प्रदेश के मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह, डीजीपी प्रशांत कुमार, लोक सेवा आयोग के सदस्य और अपर मुख्य सचिव गृह दीपक कुमार की उपस्थिति में यह निर्णय लिया गया। बैठक में 1995 और 1996 बैच के 24 पीपीएस अफसरों को IPS संवर्ग में प्रमोट किया गया।
IPS संवर्ग में शामिल होने वाले अफसरों में बजरंग बली, डॉ. दिनेश यादव, समीर सौरभ, मो. इरफान अंसारी, अजय प्रताप, नेपाल सिंह, अनिल कुमार, कमलेश बहादुर, राकेश कुमार सिंह, लाल भरत कुमार पाल, रश्मी रानी, अनिल कुमार यादव, संजय कुमार, शैलेन्द्र कुमार श्रीवास्तव, लक्ष्मी निवास मिश्र, राजेश कुमार श्रीवास्तव, चिरंजीव नाथ सिन्हा, विश्वजीत श्रीवास्तव, मनोज कुमार अवस्थी, अमृता मिश्रा, रोहित मिश्रा, शिवराम यादव, अशोक कुमार और दीपेंद्र नाथ चौधरी के नाम शामिल हैं।
हालांकि, 1993 बैच के PPS अधिकारी संजय कुमार यादव की प्रोन्नति फिलहाल रोक दी गई है, क्योंकि उनके खिलाफ जांच चल रही है। इसलिए, उनका प्रमोशन फिलहाल लंबित है और डीपीसी ने उनके मामले का निर्णय लेने से पहले जांच के नतीजों का इंतजार करने का फैसला किया है।
आईपीएस संवर्ग में प्रमोट किए गए इन अधिकारियों को नई जिम्मेदारियां सौंपी जाएंगी, जिससे प्रदेश की कानून-व्यवस्था में और सुधार की उम्मीद है। प्रोन्नति के बाद इन अधिकारियों के लिए नए पद और नई चुनौतियां होंगी, जो यूपी पुलिस के कामकाज और कार्यक्षमता को और बढ़ाएंगी।
यह प्रोन्नति न केवल इन अधिकारियों के करियर के लिए मील का पत्थर साबित होगी, बल्कि प्रदेश की पुलिस सेवा में सुधार लाने की दिशा में भी एक अहम कदम मानी जा रही है। नए आईपीएस अधिकारियों की नियुक्ति से प्रदेश की सुरक्षा व्यवस्था को और सुदृढ़ किया जाएगा।