बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की लगातार तीसरे दिन उनकी तबीयत बिगड़ गई है। बुखार, बीपी और सांस लेने में तकलीफ की वजह से धीरेंद्र शास्त्री सड़क पर लेट गए।
बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की सनातन एकता पदयात्रा शुक्रवार को आठवें दिन में पहुंच गई। यात्रा के दौरान उनकी तबीयत लगातार तीसरे दिन बिगड़ गई। तेज बुखार, बीपी और सांस लेने में दिक्कत की वजह से उन्होंने बीच सड़क पर ही आराम किया। थकान ज्यादा होने पर वे सड़क पर लेट गए, जिसके बाद आसपास मौजूद लोगों ने गमछे से हवा कर उन्हें राहत देने की कोशिश की।
डॉक्टर ने बताया कि महाराज की तबीयत पहले दिन से ही ठीक नहीं है, लेकिन वे इसे सार्वजनिक नहीं करना चाहते थे ताकि यात्रा रुके नहीं और लोगों की भावना पर असर न पड़े। डॉक्टर के अनुसार, महाराज जी चार कदम चलने पर ही थक जा रहे हैं, फिर भी वे कोई दवा लेने को तैयार नहीं हैं। इस समय वे आराम कर रहे हैं और उन्हें लगभग 100 डिग्री बुखार है। सांस लेने में भी दिक्कत हो रही है। उनके फेफड़ों में धूल काफी ज्यादा जमा हो गई है। डॉक्टरों ने उन्हें मास्क लगाने की सलाह दी थी, लेकिन उन्होंने इसे मानने से इनकार कर दिया। साथ ही, उनका बीपी भी काफी कम हो गया था, जिसकी वजह से टीम लगातार उनकी निगरानी कर रही है।
इससे पहले मथुरा में दूसरे दिन कुंडा के विधायक राजा भैया उनके साथ पैदल चलते दिखाई दिए। दोनों ने साथ में हाथ उठाकर जयकारे लगाए और सड़क किनारे बैठकर भोजन भी किया। इसी बीच धीरेंद्र शास्त्री ने कहा कि उनके पढ़े-लिखे डॉक्टर भी बम फोड़ते हैं। बताइए, उस डॉक्टर को क्या कमी है? पैसा भी खूब था, 8 एकड़ जमीन थी, बंगला था। फिर भी वह क्या कर रहा है? क्योंकि उनकी तालीम यानी शिक्षा नीति में लिखा है कि अगर तुम ऐसा करोगे तो 72 हूरों के पास जाओगे।”
राजा भैया ने कहा कि महाराज का संदेश बिल्कुल साफ है और लोगों तक सही तरीके से पहुंच भी रहा है। उन्होंने कहा कि आज हिंदू बहुसंख्यक होने के बावजूद कमजोर इसलिए दिखते हैं, क्योंकि वे आपस में बंटे हुए हैं और जातियों में विभाजित हैं। “जाति-पाती खत्म करो… हम सब एक हैं, सब हिंदू भाई-भाई हैं,” इसी संदेश के साथ महाराज जी पदयात्रा कर रहे हैं। उन्होंने यह भी बताया कि लगातार नंगे पांव चलने की वजह से धीरेंद्र शास्त्री की तबीयत खराब हुई है।