बिहार के नालंदा में एक शख्स ने 19 पन्नो का सुसाइड नोट लिखकर आत्महत्या कर ली। सुसाइड नोट में मृतक ने अपने मामा और एक दोस्त पर गंभीर आरोप लगाए।
बिहार के नालंदा जिले में एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है, जहां एक युवक ने कर्ज के बोझ और मामा के धोखे से तंग आकर फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। घटना लहेरी थाना क्षेत्र के भैंसासुर मोहल्ले की है। मृतक की पहचान सरमेरा थाना क्षेत्र के वृंदावन गांव निवासी भोला पासवान के 35 वर्षीय पुत्र सुजीत कुमार उर्फ सज्जू के रूप में हुई है। सुजीत अपनी पत्नी और 8 साल की बेटी के साथ भैंसासुर मोहल्ले में किराए के मकान में रहता था। उसकी पत्नी अर्चना कुमारी लखीसराय जिले के एक सरकारी स्कूल में प्राचार्य हैं।
पुलिस ने घटनास्थल से एक सुसाइड नोट बरामद किया, जिसमें सुजीत ने अपने मामा और एक दोस्त पर गंभीर आरोप लगाए। सुसाइड नोट में सुजीत ने अपने मामा को 'कंस मामा' कहकर संबोधित किया और लिखा कि मामा ने मकान निर्माण के लिए उससे 50 से 60 लाख रुपये लिए, लेकिन धोखे से गलत जमीन दिलवाकर उस पैसे से अपने नाम मकान लिखवा लिया और फिर फरार होकर गुजरात चला गया। इसके अलावा, सुजीत ने एक दोस्त को नौकरी दिलाने के नाम पर 15 लाख रुपये उधार दिए थे, जो अब दिल्ली सचिवालय में नौकरी कर रहा है, लेकिन उसने भी पैसे नहीं लौटाए। सुसाइड नोट में सुजीत ने लिखा, "अब पैसे के लिए लोग मुझे परेशान कर रहे हैं, मैं इस बोझ को और नहीं सह सकता।"
सुजीत के साले सुधीर कुमार ने बताया कि सुजीत पर करीब 1 करोड़ रुपये का कर्ज था, जिसमें से 50 लाख रुपये अन्य जगहों पर उधारी थी। मामा और दोस्त द्वारा पैसे नहीं लौटाने और कर्जदाताओं के लगातार दबाव के कारण सुजीत लंबे समय से डिप्रेशन में था। गुरुवार देर रात खाना खाने के बाद सुजीत अपने कमरे में गया और फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। शुक्रवार सुबह परिवार वालों को घटना का पता चला, जिसके बाद पूरे परिवार में मातम छा गया।
लहेरी थाना पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया और सुसाइड नोट के आधार पर मामले की जांच शुरू कर दी है। थानाध्यक्ष रंजीत कुमार रजक ने बताया कि सुसाइड नोट में लगाए गए आरोपों की गहन जांच की जा रही है। पुलिस मामा और दोस्त की तलाश में जुट गई है, जो कथित तौर पर फरार हैं।