राष्ट्रीय

महंगाई बढ़ने का खतरा! हरी सब्जियां आंख तरेर ही रहीं, आलू दिखा रहा तेवर

rising inflation : आलू-प्याज की कीमतें अब आपकी नींद उड़ा सकती है। दरअसल, खुदरा बाजार में पिछले एक महीने के दौरान ही आलू की कीमतें करीब 30 प्रतिशत तक चढ़ चुकी है।

2 min read

rising inflation : आलू-प्याज की कीमतें अब आपकी नींद उड़ा सकती है। दरअसल, खुदरा बाजार में पिछले एक महीने के दौरान ही आलू की कीमतें करीब 30 प्रतिशत तक चढ़ चुकी है। प्याज की कीमतें अभी तक नरम थी, लेकिन बीते शनिवार को सरकार ने प्याज का निर्यात खोल दिया, इससे प्याज की कीमतें भी चढऩे की आशंका है। पिछले एक महीने में खुदरा बाजार में औसत किस्म के आलू की कीमत 20 रुपए से बढ़कर 30 रुपए किलो तक पहुंच चुकी है। चिप्सोना या सूर्या आलू खरीदना चाहेंगे तो यह 35-40 रुपए किलो के आसपास है। कुछ दिन पहले तक 14 रुपए किलो बिकने वाला बेबी पोटेटो भी 20 से 22 रुपए किलो बिकने लगा है।

हरी सब्जियों की कीमतें पहले ही बढ़ी हुई है। इस समय बाजार में चाहे जिस भी हरी सब्जी की बात करें, कोई भी 50-60 रुपए किलो से कम नहीं बिक रही है। सरकार के तमाम प्रयास के बावजूद दाल की कीमतें भी बढ़ रही हैं। जिस हिसाब से आलू की कीमतें चढ़ रही हैं, उसे देखते हुए अनुमान लगाए जा रहे हैं कि इससे महंगाई की दर यानी इंफ्लेशन रेट फिर से डबल डिजिट में पहुंच सकती है। सब्जियों की कीमतों में बढ़ोतरी की वजह कीटों के हमले के साथ अनियमित मौसम भी है।

बढ़ सकती है खुदरा महंगाई दर

देश में जो खुदरा महंगाई दर का डेटा तैयार होता है, उसमें सब्जी का वेटेज करीब 7.5त्न है। वहीं फूड इंफ्लेशन यानी खाद्य महंगाई दर में सब्जी का वेटेज करीब 15त्न है। सब्जियों के दाम बढऩे से खुदरा महंगाई दर बढ़ सकती है। देश में हीटवेव देखने को मिल रहा है, जिसकी वजह से जल्द खराब होने वाली सब्जियों के दाम में ज्यादा इजाफा देखने को मिल रहा है। ज्यादा गर्मी की वजह से लॉजिस्टिक और ट्रांसपोर्टेशन की समस्या के कारण आवक में कमी देखने को मिल सकती है, जिससे इनके दाम बढ़ सकते हैं।

प्याज होगा महंगा!

एग्री कमोडिटी के विशेषज्ञ बताते हैं कि प्याज का निर्यात खुलने से प्याज भी महंगा हो सकता है। जब भारतीय प्याज के निर्यात पर प्रतिबंध था तब कई देशों में प्याज की कीमत 100 से 150 रुपए किलो तक पहुंच गई थी। नासिक के प्याज निर्यातक बता रहे हैं कि अभी भी निर्यात बाजार में प्याज का भाव 100 रुपए किलो है। निर्यातक इसलिए महंगे प्याज भी मंडी से उठा रहे हैं। ऐसे में घरेलू स्तर पर प्याज की कीमत भी बढ़ सकती है।

एक साल में इतनी बढ़ी कीमतें

उत्पाद बढ़ोतरी
गेहूं 5.84 प्रतिशत
चावल 13.21 प्रतिशत
तुअर दाल 29.8 प्रतिशत
मूंग दाल 8.68 प्रतिशत
उड़द दाल 14.5 प्रतिशत
आलू 40.0 प्रतिशत
प्याज 40.1 प्रतिशत
टमाटर 41.2 प्रतिशत
(स्रोत: एफएओ)

थोक मंडियों में इतने बढ़े दाम

सब्जियां भाव बढ़ोतरी
टमाटर 1512 62.6 प्रतिशत
प्याज 1362 67.5 प्रतिशत
आलू 1604 92.3 प्रतिशत
हरी मटर 5993 34.9 प्रतिशत
कच्चा केला 3020 44.9 प्रतिशत
गाजर 2002 20.7 प्रतिशत
थोक मंडियों में इनकी कीमतें घटीं

सब्जियां भाव गिरावट
पत्ता गोभी 1340 -49.4
फ्रेंच बीन्स 3595 -8.7
बैंगन 1885 -27.1
लौकी 1468 -34
फूल गोभी 1125 -17.2
(अप्रेल 2024 में औसत कीमत, प्रति क्विंटल भाव रुपए में)

Published on:
07 May 2024 10:35 am
Also Read
View All

अगली खबर