Haryana Diwas: हरियाणा की सरकार आज अपना चुनावी वादा पूरा करने जा रही है। हरियाणा दिवस के मौके पर महिलाओं के खाते में 2100 रुपये भेजे जाएंगे, जानिए इन मोर्चों पर क्या है महिलाओं की स्थिति और क्या कर रही है सरकार...
Haryana Diwas: हरियाणा दिवस के मौके पर सूबे की नायब सिंह सैनी सरकार ने महिलाओं के सशक्तिकरण को मजबूत करने के लिए कई कदम उठाए हैं। सैनी सरकार दीन दयाल लाडो लक्ष्मी योजना के तहत करीब पांच लाख महिलाओं को 2100 रुपये भेजेगी। यह राशि उन महिलाओं को दी जाएगी, जिनका आवेदन के बाद सत्यापन की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है।
लाडो लक्ष्मी योजना विभिन्न चरणों में लागू होगी। पहले चरण में उन महिलाओं को शामिल किया गया है, जिन्होंने सारी शर्तें पूरी की हैं। शर्तों के मुताबिक पहले चरण की पात्रता वाली महिलाओं की परिवार की वार्षिक आय एक लाख रुपये होनी चाहिए। आयु 23 साल या उससे अधिक होनी चाहिए। अविवाहित महिला या विवाहिता आवेदिका का पति 15 साल से हरियाणा का मूल निवासी हो।
दूसरे चरण में 1.40 लाख वार्षिक आय वाले परिवार को योजना में शामिल किया जाएगा। तीसरे चरण में 1.80 लाख वाले और चौथे चरण में 3 लाख रुपए वार्षिक आय वाले परिवार को शामिल किया जाएगा। हरियाणा सरकार दूसरे चरण की घोषणा 2026 के बजट में कर सकती है। भाजपा ने विधानसभा चुनाव से पहले सभी महिलाओं को 2100 रुपये देने का एलान किया था।
शिक्षा में महिलाओं की भागीदारी राष्ट्रीय औसत से कम है। देश का राष्ट्रीय साक्षरता दर 80.9% है। राज्य की कुल साक्षरता दर 75.55% है, जिसमें पुरुष साक्षरता 84.06% और महिला साक्षरता 65.94% है। यही नहीं, लड़कियों का स्कूल ड्रॉप आउट भी अधिक है। नौवीं से बाहरवीं तक स्कूल ड्रॉप आउट रेट 2.7 फीसदी है।
राज्य में रोजगार के मामले में भी महिलाओं की भागीदारी राष्ट्रीय औसत से कम है। राज्य में महिलाओं का श्रम बल भागीदारी दर (LFPR) 25 से 30 फीसदी है, जबकि राष्ट्रीय औसत 37% है। राज्य व केंद्र सरकार लगातार महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए कई योजनाएं चला रही हैं। 'लखपति दीदी' योजना के तहत SHG महिलाओं को 1 लाख रुपये की वार्षिक आय का लक्ष्य दिया गया है, जो 2025-26 में 2,000 आंगनवाड़ी केंद्रों के उन्नयन से जुड़ा है। इसी के साथ ही प्रधानमंत्री मुद्रा योजना और महिला उद्यमिता मंच के तहत महिलाओं को प्रोत्साहित किया जा रहा है।
राज्य में महिलाओं के खिलाफ अपराध के मामलों में कमी जरूर आई है, लेकिन अभी भी चिंताजनक है। 2021 में 16 हजार 658, 2022 में 16 हजार 743 और 2023 में 15 हजार 758 आपराधिक मामले दर्ज हुए हैं। महिलाओं के खिलाफ हिंसा का राष्ट्रीय दर 66.2 प्रतिशत है। महिलाओं के खिलाफ आपराधिक मामलों में चार्जशीट के रिकार्ड में हरियाणा में दर 56 प्रतिशत रही है जो देश में राजस्थान (53.6 प्रतिशत) के बाद सबसे कम है। वर्ष 2023 में हरियाणा में दुष्कर्म की कुल 1772 घटनाएं दर्ज की गईं। इनमें 18 से 30 की उम्र की 1105 पीड़िताएं शामिल थीं। 30 से 45 साल की 606 महिलाओं ने शिकायत दर्ज कराई थी और 60 साल से ऊपर की छह महिलाओं का यौन शोषण किया गया।
स्वास्थ्य के मामले में भी महिलाओं की स्थिति भी सुधरी है, लेकिन मातृ मृत्यु दर की स्थिति चिंताजनक है। पोषण की कमी के कारण एनीमिया और स्टंटिंग महिलाओं और बच्चों में काफी ज्यादा है। केंद्र व राज्य सरकार जननी सुरक्षा योजना, मुख्यमंत्री मुफ्त इलाज योजना, प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान और आयुष्मान भारत योजना के तहत महिलाओं को बेहतर स्वास्थ्य देने में जुटी है।