cloudburst in Himachal Pradesh: एक बुजुर्ग पीड़ित ने कहा, "मेरे घर में 14-15 लोग थे। सभी बह गए। मैं इसलिए बच गया क्योंकि मैं रामपुर गया हुआ था। अब उम्मीद करता हूं कि घर का कोई सदस्य जीवित मिल जाए।"
Cloudburst in Himachal Pradesh: हिमाचल प्रदेश में बादल फटने से भयंकर विनाश हुआ। बादल फटने की घटना से रामपुर जिले के समेज नाम का एक पूरा गांव तबाह हो गया। इस त्रासदी में इस गांव में सिर्फ एक घर बच गया। समेज गांव की पीड़िता अनिता देवी ने आपदा की गंभीरता पर प्रकाश डालते हुए अपनी हृदय विदारक कहानी मीडिया से साझा की। अनिता देवी ने बताया कि बुधवार की रात जब वह और उनका परिवार सो रहे थे तब एक जोरदार धमाका हुआ और उनका घर हिल गया। उन्होंने कहा, "हमने जब बाहर देखा तो पूरा गांव बह चुका था। हम भागकर गांव के भगवती काली माता मंदिर में पहुंचे और पूरी रात वहीं बिताई।" अपनी पीड़ा बताते हुए अनिता देवी की आवाज कांप रही थी।
अनिता ने रूंधे हुए गले के साथ बताया, "पूरा गांव तबाही की भेंट चढ़ गया। सिर्फ मेरा घर ही बच पाया। मेरी आंखों के सामने सबकुछ बह गया। अब मुझे यह समझ नहीं आ रहा कि मुझे किसके साथ रहना चाहिए।"
समेज गांव के ही एक बुजुर्ग बख्शी राम ने भी मीडिया से अपना दुख साझा किया। अपनी दर्द भरी दास्तान सुनाते हुए उनके आंखों से आंसू झर रहे थे। उन्होंने कहा, ''मेरे परिवार के करीब 14 से 15 लोग बाढ़ में बह गए। मुझे रात 2 बजे बाढ़ की खबर मिली और मैं उस वक्त रामपुर में था इसलिए मैं बच गया। मैं सुबह 4 बजे जब यहां पहुंचा तब सबकुछ लुट चुका था। मैं अपने प्रियजनों की तलाश कर रहा हूं। उम्मीद कर रहा हूं कि मेरे परिवार का कोई सदस्य जीवित मिल जाए।
जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के अनुसार, हिमाचल प्रदेश के कुल्लू, मंडी और शिमला क्षेत्रों में बादल फटने और अचानक आई बाढ़ के बाद शनिवार तक कुल 53 लोग लापता हैं और छह शव बरामद किए गए हैं। वहीं डीडीएमए के विशेष सचिव डीसी राणा ने कहा कि बाढ़ से 60 से ज्यादा घर बह गए और कई गांव गंभीर रूप से प्रभावित हुए हैं।