नई दिल्ली

IAS Officers Transfer: हरियाणा में बड़ा फेरबदल, छह IAS अधिकारी इधर से उधर, तत्काल प्रभाव से आदेश लागू

IAS Officers Transfer: हरियाणा की नायब सिंह सैनी सरकार ने एनसीरआर क्षेत्र में बड़ा फेरबदल किया है। इसके तहत फरीदाबाद और गुरुग्राम निगमायुक्त समेत 6 आईएएस अधिकारियों को इधर से उधर किया गया है।

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10 IAS अधिकारियों का तबादला | Image Source - Social Media

IAS Officers Transfer: हरियाणा के सीएम नायब सिंह सैनी राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र यानी एनसीआर में बड़ा प्रशासनिक फेरबदल किया है। इसके तहत दिल्ली से सटे फरीदाबाद और गुरुग्राम के निगमायुक्त समेत 6 आईएएस अधिकारियों को इधर से उधर किया गया है। ये आदेश तत्काल प्रभाव से लागू कर दिए गए हैं। इस संबंध में आधिकारिक आदेश हरियाणा के राज्यपाल की ओर से मुख्य सचिव अनुराग रस्तोगी ने जारी किए हैं।

अमनीत पी कुमार को नागरिक उड्डयन विभाग का अतिरिक्त प्रभार

आईएएस अधिकारी अमनीत पी कुमार को हरियाणा सरकार के सिविल एविएशन (नागरिक उड्डयन) विभाग में कमिश्नर और सेक्रेटरी का अतिरिक्त प्रभार सौंपा गया है। वे पहले से ही मत्स्य पालन और अभिलेखागार जैसे विभागों में कमिश्नर एवं सचिव के पद पर कार्यरत हैं। अब वे इस नए विभाग का कार्यभार आईएएस श्यामल मिश्रा से संभालेंगी। जिन्हें इस पद से मुक्त कर दिया गया है। उधर, गुरुग्राम नगर निगम में जिला नगर आयुक्त के पद पर कार्यरत आईएएस अशोक कुमार गर्ग को अब हिसार संभाग का नया कमिश्नर नियुक्त किया गया है। उनका स्थान अब प्रदीप दहिया को दिया गया है।

फरीदाबाद और रोहतक में भी बदले गए अधिकारी

रोहतक के वर्तमान डिप्टी कमिश्नर धीरेंद्र खडगटा को फरीदाबाद नगर निगम का नया कमिश्नर नियुक्त किया गया है। वे पर्यावरण, वन एवं वन्यजीव विभाग में विशेष सचिव के पद पर भी बने रहेंगे। उनकी जगह रोहतक में धर्मेंद्र सिंह को डिप्टी कमिश्नर के रूप में नियुक्त किया गया है। इसके साथ ही गुरुग्राम नगर निगम के आयुक्त पद पर प्रदीप दहिया को नियुक्त किया गया है। जो अब तक झज्जर के उपायुक्त थे। उनकी जगह अब स्वप्निल रविंद्र पाटिल को झज्जर का नया डिप्टी कमिश्नर बनाया गया है।

वरिष्ठ कलाकारों के लिए नई सामाजिक योजना की घोषणा

हरियाणा सरकार ने राज्य के वरिष्ठ कलाकारों के लिए "पंडित लखमी चंद कलाकार सामाजिक सम्मान योजना" शुरू करने का निर्णय लिया है। इस योजना का उद्देश्य उन वरिष्ठ कलाकारों और कला क्षेत्र के विद्वानों को वित्तीय और सामाजिक सहायता प्रदान करना है जिन्होंने कला, संगीत, नाटक, लोकगीत, या अन्य सांस्कृतिक क्षेत्रों में उल्लेखनीय योगदान दिया है।

यह योजना विशेष रूप से उन कलाकारों के लिए है जो अब वृद्धावस्था में हैं और सक्रिय रूप से भाग नहीं ले पा रहे, लेकिन जिन्होंने अपने जीवन के सक्रिय वर्षों में हरियाणा की सांस्कृतिक धरोहर को संवारने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। इस योजना के तहत उन्हें सामाजिक सुरक्षा और आर्थिक सहायता प्रदान की जाएगी।

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