1940 में सोवियत संघ के दो डीबी-3 बमवर्षकों ने किया था हमला
हेल्सिंकी (फिनलैंड). दूसरे विश्व युद्ध के दौरान क्रैश हुए फिनलैंड के एक विमान का मलबा 84 साल बाद समुद्र में खोज लिया गया है। एस्टोनिया के गोताखोर और बचाव दल के मुताबिक उन्हें फिनिश एयरलाइन एयरो के कलेवा नाम के विमान का मलबा एस्टोनिया की राजधानी तेलिन के पास करीब 70 मीटर की गहराई में मिला। इतने साल बाद भी इसका ज्यादातर हिस्सा सही-सलामत है।विमान 14 जून, 1940 को अमरीकी और फ्रांसीसी राजनयिकों को ले जा रहा था। सोवियत संघ की सेना ने बाल्टिक देशों पर कब्जा करने से पहले इसे मार गिराया। विमान में सवार सभी नौ लोग मारे गए थे। इनमें फिनिश चालक दल के दो सदस्य और सात यात्री शामिल थे। फिनलैंड के अफसरों ने बताया था कि विमान उलेमिस्टे एयरपोर्ट से उड़ान भरने के 10 मिनट बाद सोवियत संघ के दो डीबी-3 बमवर्षकों के हमले में क्रैश हो गया। इससे तीन महीने पहले ही फिनलैंड और मॉस्को के बीच शांति समझौते पर हस्ताक्षर हुए थे।
कई साल चुप्पी साधे रखी फिनलैंड ने
अस्सी के दशक में मामले की जांच करने वाले फिनिश विमानन इतिहासकार कार्ल-फ्रेड्रिक गेस्ट ने कहा था कि यह हैरानी बाली बात थी कि सामान्य निर्धारित उड़ान को शांतिकाल के दौरान मार गिराया गया। फिनलैंड ने आधिकारिक रूप से विमान पर हमले को लेकर कई साल चुप्पी साधे रखी, क्योंकि वह सोवियत संघ को नाराज नहीं करना चाहता था।
पिछले साल खोजा था अमरीकी जेट
पिछले साल यूरोपीय देश माल्टा में द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान क्रैश हुए एक अमरीकी फाइटर जेट के अवशेष भूमध्य सागर में खोजे गए थे। इसके पायलट को 1943 में लापता घोषित कर दिया गया था। जेट का मलबा खोजने के लिए माल्टा विश्वविद्यालय के पुरातत्त्व विभाग के प्रोफेसर टिम्मी गैम्बिन की अगुवाई में टीम बनाई गई। टीम ने 2018 में अवशेष खोजने का काम शुरू किया था।