नर कोबरा समझकर डिब्बे में बंद किए था स्नैक केचर, अंडे दिए तो स्कैन केचर भी रह गया हक्का-बक्का
सागर. शहर में पहली बार मिली 4 फीट लंबी मादा कोबरा मिली है। मशहूर स्नैक केचर अकील बाबा पिछले एक सप्ताह से उसे नर कोबरा समझकर डिब्बे में रखे थे। जब मादा ने अंडे दिए तो 30 सालों से सांप पकडऩे का कार्य कर रहे अकील बाबा भी हैरान हो गए। उन्होंने कहा कि अभी तक उन्होंने इतनी लंबी मादा कोबरा नहीं देखी थी इसलिए वह गच्चा खा गए। वहीं वन विभाग के अधिकारी ने भी माना है कि बुंदेलखंड की जलवायु के अनुसार क्षेत्र में कोबरा प्रजाति की मादा सांप अमूमन दो से ढाई फीट के ही होते हैं। यदि 4 फीट लंबी मादा कोबरा मिली है तो वह बेहद उम्र दराज होगी।
स्नैक केचर अकील बाबा ने बताया कि विगत सप्ताह वह मकरोनिया के बटालियन क्षेत्र से 4 फीट लंबे कोबरा सांप को पकडकऱ लाए थे। 25-30 साल के अपने अनुभव से मुझे पता था कि क्षेत्र में मादा कोबरा अधिकतम 2 से ढाई फीट लंबी ही होती हैं। इसलिए नाग समझकर डिब्बे में बंद करके रखा था ताकि शहर से और सांप एकत्रित हो जाएंगे तो उन्हें वन विभाग के साथ जंगल में लेकर छोड़ा जा सके। लेकिन विगत दिन डिब्बे के अंदर से इस कोबरा के फुफकारने की ज्यादा आवाजें आ रही थीं, चौंककर मैंने डिब्बे को उठाकर देखा तो कोबरा सांप के साथ अंडे भी थे। डिब्बे में 16 अंडे देख मैं हैरान हो गया। मैंने उसे बाहर निकाला और पहली बार एहसास हुआ कि सांप को समझने में मुझसे गलती हुई है। स्नैक कैचर ने बताया कि सांपों की प्रजाति में कोबरा को सबसे खतरनाक माना जाता है। मादा कोबरा एक बार में 10 से 30 अंडे देती है। अंडों से 45 से 70 दिन में अंडों से बच्चे बाहर आते हैं। अब अंडों से बच्चे निकलने के बाद वन विभाग के साथ इसे जंगल में छोड़ेंगे।
-इंसानों में लंबाई बढऩे की एक निश्चित उम्र होती है लेकिन कुछ जीवों में लंबाई उम्र के साथ बढ़ती जाती है। हो सकता है कि यह मादा कोबरा ज्यादा उम्र की हो गई हो। वैसे मादा कोबरा की लंबाई अलग-अलग राज्यों में जलवायु के अनुसार अलग-अलग हो सकती है। ये बात सही है कि बुंदेलखंड क्षेत्र में अभी तक दो से ढाई फीट लंबी मादा कोबरा नहीं देखी गई है, हालांकि यहां स्नैक म्यूजियम नहीं है और इसका भी कोई रेकॉर्ड नहीं है।
हेमंत यादव, उप वन मंडल अधिकारी।