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Vaani Shakti Remedies: बोली बदल सकती है आपकी किस्मत, जानिए वाणी सुधारने के असरदार उपाय

ज्योतिष के अनुसार वाणी का सीधा संबंध आपकी किस्मत, धन और रिश्तों से होता है। गायत्री मंत्र, नाम जप और शुद्ध खानपान से आप अपनी बोली और भाग्य दोनों सुधार सकते हैं।

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Vaani Shakti Remedies (pc: gemini generated)

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इंसान के व्यक्तित्व, रिश्तों और सफलता में सबसे बड़ी भूमिका उसकी वाणी (Speech Power) की होती है। आप कैसे बोलते हैं, किस लहजे में बात रखते हैं और शब्दों का चयन कैसे करते हैं—ये सब आपकी किस्मत की दिशा तय करते हैं। ज्योतिष शास्त्र में भी वाणी को बेहद महत्वपूर्ण माना गया है, क्योंकि इसका सीधा संबंध धन, परिवार और सामाजिक प्रतिष्ठा से होता है।

ज्योतिष में वाणी का महत्व

कुंडली का दूसरा भाव वाणी का मुख्य भाव माना जाता है। इसके अलावा तीसरा और आठवां भाव भी वाणी से जुड़े होते हैं। खास बात यह है कि यही भाव आर्थिक स्थिति और पारिवारिक जीवन को भी दर्शाते हैं। यानी आपकी बोली जितनी अच्छी होगी, उतना ही जीवन संतुलित रहेगा।

वाणी पर सबसे अधिक प्रभाव बुध और बृहस्पति का होता है।

  • बुध व्यक्ति को अभिव्यक्ति और कम्युनिकेशन की शक्ति देता है।
  • बृहस्पति वाणी में गंभीरता, ज्ञान और मिठास लाता है।

अगर कुंडली में बुध और बृहस्पति दोनों मजबूत हों, तो व्यक्ति की बातों से लोग प्रभावित होते हैं।

कब खराब होती है वाणी?

अगर वाणी से जुड़े भावों पर शनि या राहु का प्रभाव हो, तो व्यक्ति की बोली कठोर, कटु या अपशब्दों से भरी हो सकती है। बार-बार गुस्सा करना, चीखना-चिल्लाना या गलत शब्दों का प्रयोग करना जीवन में अशुभता बढ़ाता है।

वाणी को मधुर बनाने के ज्योतिष उपाय

अगर आप चाहते हैं कि आपकी बोली मीठी हो और उसका असर आपके भाग्य पर भी दिखे, तो ये उपाय अपनाएं:

  • सुबह और शाम गायत्री मंत्र का 27 या 108 बार जप करें
  • खानपान शुद्ध रखें, मांस और मदिरा से बचें
  • महीने में एक बार पूर्णिमा का उपवास (केवल जल/लिक्विड) रखें
  • ज्योतिषीय सलाह से पुखराज या पन्ना धारण करें
  • गलती से अपशब्द निकल जाए तो तुरंत “कृष्ण कृष्ण”, “राम राम” या “शिव शिव” कहें

नाम जप से बदलेगी आदत

लगातार भगवान के नाम का जप करने से धीरे-धीरे वाणी की गलत आदतें छूटने लगती हैं। इससे मन शांत होता है और जीवन की अशुभता कम होने लगती है।