सिणधरी. डंडाली ग्राम पंचायत में सरकार ने दो वर्ष पूर्व उप स्वास्थ्य केंद्र को क्रमोन्नत करते हुए प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र का दर्जा दिया लेकिन आज दिन तक यह केंद्र एक कमरे में ही चलाया जा रहा है। यहां मरीज तो दूर की बात कार्यरत कर्मचारियों के भी पर्याप्त जगह नहीं है।
ऐसी कैसी है यह पीएचसी, कर्मचारियां को भी जगह नहीं
दो वर्ष पहले उपस्वास्थ्य केंद्र को किया क्रमोन्नत, अब भवन की दरकार
सिणधरी. डंडाली ग्राम पंचायत में सरकार ने दो वर्ष पूर्व उप स्वास्थ्य केंद्र को क्रमोन्नत करते हुए प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र का दर्जा दिया लेकिन आज दिन तक यह केंद्र एक कमरे में ही चलाया जा रहा है। यहां मरीज तो दूर की बात कार्यरत कर्मचारियों के भी पर्याप्त जगह नहीं है।
सरकार ने डंडाली प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र का दर्जा देने के बाद यहां पर विभिन्न अलग-अलग पदों की स्वीकृति कर दी। उसके बाद चिकित्सकों ने जैसे तैसे कर एक कमरे के अंदर प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र शुरू किया लेकिन दवाइयां सहित अन्य उपकरण रखने की जगह नहीं होने से मजबूरन एक बेड लगाकर चिकित्सक बैठने को मजबूर है। अन्य कार्यरत कर्मचारियों के लिए जगह नहीं है। अस्पताल में आने वाले मरीजों को इलाज के लिए एक बेड भी मुश्किल से नसीब हो पा रहा है।
छह बेड की जगह एक
प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र की स्वीकृति मिलने के बाद सरकार ने एक चिकित्सक, दो नर्सिंग कर्मचारी, एक एएनएम, एक कंप्यूटर ऑपरेटर, एक लैब टेक्नीशियन की नियुक्ति की। पर्याप्त जगह नहीं होने से कर्मचारियों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है, जबकि यहां 6 बेड की व्यवस्था होनी चाहिए जिसकी जगह मात्र एक बेड ही लगा हुआ है। कर्मचारी भी परेशान है।
भवन नहीं मिलने से अस्पताल आने वाले मरीजों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है सरकार जल्द भवन की स्वीकृति देकर भवन बनाएं। - गीगाराम गर्ग, डंडाली
अस्पताल का भवन नहीं होने से अस्पताल में इलाज कराना संभव नहीं हो पा रहा है। यहां पर कर्मचारियों के बैठने की जगह पर्याप्त नहीं है।
- पीराराम सैन, डंडाली
सरकार ने सुविधा के तौर पर अस्पताल तो खोल दिया लेकिन भवन नहीं होने से एक कमरे में अस्पताल चल रहा है।
- हनुमानराम सेंवर, डंडाली
पीएचसी भवन के लिए 5 बीघा जमीन ग्राम पंचायत की ओर से विभाग को सुपुर्द कर दी गई है। अब सरकार बजट जारी करके जल्द भवन का निर्माण कराए ताकि मरीजों को सुविधा मिले।
- गुलाब सिंह, सरपंच, डंडाली
मात्र एक कमरा है, जिसमें सब कुछ मैनेज करना पड़ रहा है। अब एक बेड लगा हुआ है और कोई जगह नहीं है। पास में एक और भवन है वह खाली होने पर व्यवस्था होगी।
- डॉ. अमित पायल, चिकित्साधिकारी, पीएचसी डंडाली
जालोर से भवन का टेंडर होता है। मैं आगामी दिनों में पता करवाता हूं क्या स्थिति है।
डॉ. चन्द्र शेखर गजराज, सीएमएचओ, बाड़मेर