8 दिसंबर 2025,

सोमवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

राजधानी में मुंबई, हैदराबाद, दुबई और हांगकांग की तरह नजर आएंगी ऊंची इमारतें

MP News : आगामी दिनों में आपको शहर के नर्मदापुरम रोड, रायसेन रोड, इंदौर रोड दुबई, हांगकांग, न्यूयार्य के मैनहट्टम जैसी ऊंची इमारतें नजर आएगी।

2 min read
Google source verification
bhopal became big building city

MP News : आगामी दिनों में आपको शहर के नर्मदापुरम रोड, रायसेन रोड, इंदौर रोड दुबई, हांगकांग, न्यूयार्य के मैनहट्टम जैसी ऊंची इमारतें नजर आएगी। मास्टर प्लान में तय 60 मीटर से अधिक चौड़ी सडक़ों के किनारे प्लॉट एरिया का पांच से सात गुना तक निर्माण करने के नियम का शहर पर बड़ा असर होगा। सबसे महत्वपूर्ण तो ये कि कम जगह में ज्यादा निर्माण किया जा सकेगा।

ये भी पढें - मध्य प्रदेश को मिला 8वें टाइगर रिजर्व का तोहफा, 50 नए पद होंगे मंजूर, मिलेंगे करोड़ों रुपए

वहीं टीओडी-टीडीआर रीसिविंग एरिया के तहत 24 मीटर चौड़ी रोड के दोनों तरफ 50-50 मीटर तक व्यवसायिक निर्माण को पहले ही मंजूर किया जा चुका है। अब 60 मीटर और 75 मीटर चौड़ी रोड पर पांच से सात गुना तक निर्माण अनुमति देकर ज्यादा निर्माण की राह खोल दी है।

ये भी पढें - आइकोनिक सिटी बनेगी श्रीराम राजा की नगरी, जानिए क्या है खास

ऐसे समझें आमजन पर असर

शासन के नए नियम(MP News) से छोटी कॉलोनी, मोहल्ले की सडक़ व स्थिति का असर नहीं होगा। ये नियम बायपास रोड और नई तय व शहर से बाहर की सडक़ों पर ही लागू हो पाएगा। शहर के भीतर की सडक़ें 30 मीटर की चौड़ाई में है।

ऐसे बदले नियम

-60 मीटर व इससे अधिक चौड़ी रोड पर 4000 वर्गमीटर के भूखंड पर अभी तीन एफएआर है, इसे पांच किया है।
-75 मीटर व इससे अधिक चौड़ी रोड़ पर 4500 वर्गमीटर के भूखंड पर अभी तीन एफएआर है, इसे पांच किया है।
-75 मीटर व इससे अधिक चौड़ी रोड पर 4500 वर्गमीटर के भूखंड पर अभी तीन एफएआर है, इसे सात किया गया है।

उंचाई वाले भवनों को ऐसे समझे

-दिल्ली के विशेष व्यापारिक क्षेत्रों (जैसे कनॉट प्लेस) और ट्रांजिट ओरिएंटेड डेवलपमेंट कॉरिडोर में 7 एफएआर की अनुमति दी गई है।
-मुंबई में क्लस्टर डेवलपमेंट और रीडेवलपमेंट प्रोजेक्ट्स (जैसे स्लम रीडेवलपमेंट और सेसा जोन) में 7 एफएआर है।
-बेंगलुरु में विशिष्ट आईटी कॉरिडोर और विशेष आर्थिक क्षेत्रों में उच्च एफएआर लागू होता है।
-हैदराबाद में विशेष रूप से हाई-टेक सिटी और फाइनेंशियल डिस्ट्रिक्ट में सात एफएआर है।
-गुड़गांव (गुरुग्राम) एनसीआर क्षेत्र में विशेष आर्थिक क्षेत्र और मिश्रित भूमि उपयोग परियोजनाओं में।
-नोएडा और ग्रेटर नोएडा में मेट्रो और ट्रांसपोर्ट हब के आसपास उच्च एफएआर दिया गया है।
-पुणे में आईटी हब और रियल एस्टेट के बड़े क्लस्टर में पांच से सात एफएआर है।

विदेशों में यहां सात एफएआर

-न्यूयॉर्क सिटी के मैनहट्टन जैसे घने इलाकों में 7 एफएआर या उससे अधिक की अनुमति दी जाती है।
-सिंगापुर में मरीना बे और सेंट्रल बिजनेस डिस्ट्रिक्ट जैसे इलाकों में अत्यधिक एफएआर की अनुमति है।
-हांगकांग में घने आवासीय और व्यावसायिक क्षेत्रों में एफएआर 10 से भी अधिक होता है, लेकिन औसत सेप्शल ज़ोन में 7 एफएआर आम है।
-दुबई में बिजनेस बे, डाउनटाउन दुबई, और पाम जुमेराह जैसे इलाकों में उच्च एफएआर मिलता है।
-टोक्यो (जापान) के अत्यधिक घने शहरी इलाकों और मेट्रो स्टेशन के आसपास।