बचत योजनाओं से लेकर बैंकिंग तक के 5 नियम पांच दिन में बदलेंगे
भोपाल। सितंबर का महीना खत्म होने वाला है। वहीं आने वाले एक अक्टूबर से कई बड़े बदलाव होने वाले हैं। एक तरफ कार्ड टोकनाइजेशन का नियम लागू होने वाला है, इससे क्रेडिट-और डेबिट कार्ड के खरीदारी के नियम बदल जाएंगे। वहीं इनकम टैक्सपेयर अटल पेंशन स्कीम में निवेश नहीं कर सकेंगे। इसके अलावा एनपीएस के ई-नॉमिनेशन के नियमों में भी बदलाव होगा। सरकार छोटी बचत योजनाओं में निवेश पर मिलने वाले रिटर्न में भी संशोधन कर सकती है। इसी तरह कई और बदलाव एक अक्टूबर से होने हैं, जिनका सीधा असर आपकी जेब पर पड़ेगा।
कार्ड टोकनाइजेशन
डेबिट-क्रेडिट कार्ड से पेमेंट का नया सिस्टम लागू होने के बाद ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म, मर्चेंट्स, पेमेंट एग्रीगेटर और पेमेंट गेटवे ग्राहकों की कार्ड से जुड़ी जानकारी को स्टोर नहीं कर सकेंगे। इस सिस्टम के तहत कार्ड की डिटेल्स के बदले ऑनलाइन पेमेंट के लिए 4 अंक का यूनिक टोकन नंबर डालना होगा। जो ग्राहक टोकनाइजेशन नहीं चुनेंगे, उन्हें हर बार पेमेंट करने पर कार्ड की पूरी डिटेल डालनी होगी। इसका मकसद ऑनलाइन बैंकिंग फ्रॉड को रोकना है।
स्मॉल सेविंग्स स्कीम
रेपो रेट बढ़ने के बावजूद स्मॉल सेविंग्स स्कीम्स में मिलने वाले ब्याज की दरों में इजाफा नहीं हुआ है। ऐसे में पीपीएफ, किसान विकास पत्र, टाइम डिपॉजिट व एनएससी जैसी छोटी बचत योजनाओं पर 30 सितंबर को नई ब्याज दरों का ऐलान हो सकता है।
अटल पेंशन स्कीम
इनकम टैक्स का भुगतान करने वाले लोग एक अक्टूबर से अटल पेंशन योजना का लाभ नहीं ले सकेंगे। हालांकि जिन टैक्सपेयर्स ने इसमें निवेश किया हुआ है, उन पर नए नियमों को कोई असर नहीं होगा। अभी 40 साल तक की उम्र का कोई भी भारतीय इस पेंशन योजना से जुड़ सकता है।
डीमैट अकाउंट
डीमैट खाताधारकों को 30 सितंबर तक टू-फैक्टर ऑथेंटिकेशन पूरा करना है। इसके बाद ही आप अपने डीमैट अकाउंट में लॉग-इन कर पाएंगे। लॉगइन के लिए पहले बायोमीट्रिक ऑथेंटिकेशन करना होगा, फिर पासवर्ड, पिन आदि एंटर करना होगा।
म्यूचुअल फंड
म्यूचुअल फंड के निवेशकों के लिए नॉमिनेशन डिटेल देना जरूरी होगा। ऐसा नहीं करने वाले निवेशकों को एक डिक्लेरेशन भरना होगा। डिक्लेरेशन में नॉमिनेशन की सुविधा नहीं लेने की घोषणा करनी होगी।