
dumping ground
गाजियाबाद. राजधानी दिल्ली से गाजियाबाद आगमन पर यूपी गेट पर लोगों को कूड़े के पहाड़ नजर आता है। प्रदेश के प्रमुख शहरों में गाजियाबाद भी गाजीपुर की राह पर पहुंच गया है। इंदिरापुरम के शक्ति खंड में लिंक रोड पर बने अस्थाई डम्पिंग ग्राउंड में लगातार कूड़ा उबल रहा है। यहां से निकलने वाली जहरीली हवाएं इलाके के लोगों के लिए मुश्किल खड़ी कर रही है। अगर जल्द से जल्द इस पर जीडीए, आवास विकास परिषद और नगर निगम की तरफ से संज्ञान नहीं लिया गया तो हालात और भी खराब हो सकते हैं। जबकि सभी जगह पर एनजीटी के उल्लंघन को लेकर चेतावनी के बोर्ड भी लगाए हुए है।
सोसाइटी के लोगों ने किया विरोध
पिछले कुछ दिनों से जहरीले धुंए के घरों तक आने से परेशान होकर लोग सड़क पर उतर आए। उनके मुताबिक डंपिग ग्राउंड में रात के 9 बजे के बाद आग लगा दी जा रही है, जिससे धुआं उठता है। इससे आसपास रहने वालों को सांस लेने में समस्या होती है। दिवाली के दिन भी इस कूड़े के ढे़र में आग लगा दी गई थी, जिससे परेशान होकर रात को आसपास के रेजिडेंट्स डीएम के घर भी गए और वहां पर शिकायती लेटर देकर आए थे। इसके अलावा फायर ब्रिगेड को सूचना देकर आग बुझाने की अपील की गई थी। फायर ब्रिगेड की गाड़ियां रात भर आग बुझाने में लगी रही मगर वो उस पर काबू नहीं पा सकीं।
क्या है स्थिति
शक्ति खंड-4 के रहने वाले अतुल कुमार ने बताया कि डंपिंग ग्राउंड में रोजाना कोई कूड़े के ढेर में आग लगा देता है। इससे शक्ति खंड 2, 3, 4 में रहने वाले लोगों को सांस लेने में समस्या होती है। एसटीपी प्लांट के पास में पहले अस्थाई डम्पिंग ग्राउंड नहीं था। लेकिन एक साल के भीतर यहां पर कूडा डाले जाने लगा। इसकी वजह से अब यहां पर काफी विकराल स्थिति हो चुकी है और लगातार धुंआ निकलता रहता है।
बीस साल से बीजेपी फिर भी नहीं है कोई डम्पिंग ग्राउंड
करोड़ों अरबों रुपयों का रोजाना कारोबार करने वाले महानगर गाजियाबाद के पास में कोई भी डम्पिंग ग्राउंड नहीं है। बीस साल से नगर निगम पर भारतीय जनता पार्टी का राज रहा है। रोजाना यहां 900 मैट्रिक टन कूड़ा निकलता है। लेकिन कोई डम्पिंग ग्राउंड न होने की वजह से कूडे़ को अलग-अलग अस्थाई डम्पिंग ग्राउंड में फेंक दिया जाता है।
विधायक से भी नहीं मिली कोई राहत
शक्ति खंड 4 के सैकड़ों लोगों ने विधायक सुनील शर्मा से इसके संबंध में मुलाकात की। लेकिन धुंए के अंबार से फौरी तौर पर कोई राहत नहीं मिल सकी। विधायक सुनील शर्मा ने कहा कि जल्द ही इसके संबंध में निगम, जीडीए से बातचीत करके विकल्प तलाशा जाएगा। प्रदर्शनकारियों ने जब समस्या को पहले से चले आना बताया तो वो विफर गए और बोले कि छह महीने पहले ही विधायक बने है।
Published on:
23 Oct 2017 03:30 pm
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