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राम मंदिर निर्माण को लेकर जुटे संत, बोले निर्मोही अखाड़े के हाथ से हो मंदिर का निर्माण

ट्रस्ट में भूमिका एवं प्रतिनिधित्व तय करने पर किया मंथन

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राम मंदिर निर्माण को लेकर जुटे संत, बोले सरकार को सकारात्मक रुख अपनाना चाहिए

ग्वालियर। अयोध्या में राममंदिर निर्माण के लिए बनने वाले ट्रस्ट में निर्मोही अखाड़े की भूमिका एवं प्रतिनिधित्व तय करने के लिए निर्मोही अखाड़े से जुड़े प्रमुख साधु-संतों की बैठक का आयोजन शहर की लक्ष्मीबाई कॉलोनी स्थित सिद्धपीठ श्रीगंगादासजी की शाला में किया गया। जिसमें निर्मोही अखाड़ा वृन्दावनधाम के महंत धीर समीर श्री मदनमोहनदास महाराज ने कहा है कि मंदिर निर्माण को लेकर बनने वाले ट्रस्ट में निर्मोही अखाड़े की भूमिका पर सरकार को सकारात्मक रुख अपनाना चाहिए। सुप्रीम कोर्ट की भी यही मंशा रही है। निर्मोही अखाड़ा भी मंदिर निर्माण में सकारात्मक भूमिका का निर्वहन करना चाहता है। सरकार जो नवीन ट्रस्ट गठित कर रही है उसमें मुख्य रूप से मंहत, सरपंच, उपसरपंच और पंच को रखा जाए।

सरकार अपनी व्यवस्थाओं को ढंग से करें। हिन्दूओं की परंपरा के अनुसार मंदिर का निर्माण हो। हम चाहते हैं कि जल्द से जल्द मंदिर का निर्माण हो ताकि हिन्दू समाज अपने अराध्य भगवान राम की पूजन अर्चन कर सके। बैठक की अध्यक्षता शाला के महंत पूरन बैराठी पीठाधीश्वर महंत श्री रामसेवकदास महाराज ने की। यहां बता दें कि अयोध्या भूमि विवाद में पक्षकार रहे निर्मोही अखाड़े का संबंध रामानंदी संप्रदाय से है। अखाड़ा रामलला के पूजन के अधिकार की मांग करता रहा है।

सुप्रीम कोर्ट ने भी केंद्र सरकार से ट्रस्ट में निर्मोही अखाड़े को समुचित प्रतिनिधित्व देने के निर्देश दिए थे। तदनुसार केंद्र सरकार ने निर्मोही अखाड़े को ट्रस्ट में शामिल होने के लिए अपना प्रतिनिधि तय करने को कहा है। इसी क्रम में निर्मोही अखाड़े से जुड़े प्रमुख संत 20 जनवरी से यहां जुटेंगे। निर्मोही अखाड़ा वृंदावन के अध्यक्ष मदनमोहनदास महाराज ने बताया है कि इस बैठक में संत मंदिर निर्माण व्यवस्था एवं प्रबंधन में अखाड़े की भूमिका को लेकर चर्चा की। इसके साथ ही निर्मोही अखाड़े की तरफ से ट्रस्ट में शामिल होने वाले प्रतिनिधियों के नाम भी बैठक में सर्वसम्मति से तय किए गए।

बैठक में यह संत रहे मौजूद
बैठक में निर्मोही अखाड़ा अयोध्या के महंत दिनेन्द्रदास जी महाराज,चित्रकूट निर्मोही अखाड़े के महंत भगवानदास जी महाराज कामतानाथ प्रमुख मुखारबिंद के सरपंच नृसिंहदास जी महाराज, गोवर्धन निर्मोही अखाड़े के महंत सीतारामदास जी महाराज, राजस्थान के रामसुरेशदास जी महाराज (राधे-राधे बाबा) निर्मोही अखाड़े के प्रमुख संरक्षक गुजरात के श्री स्वामी रामचन्द्राचार्य जी महाराज महंत जगदीश दास जी महाराज शामिल हुए। इस बैठक में मंदिर निर्माण से जुड़े महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा भी की गई।

मंदिर निर्माण में हमारी भूमिका सकारात्मक रहेगी
निर्मोही अखाड़ा वृन्दावनधाम के महंत धीर समीर श्री मदनमोहनदास जी महाराज ने कहा है कि मंदिर निर्माण को लेकर बनने वाले ट्रस्ट में निर्मोही अखाड़े की भूमिका पर सरकार को सकारात्मक रुख अपनाना चाहिए। सुप्रीम कोर्ट की भी यही मंशा रही है। निर्मोही अखाड़ा भी मंदिर निर्माण में सकारात्मक भूमिका का निर्वहन करना चाहता है। सरकार जो नवीन ट्रस्ट गठित कर रही है उसमें मुख्य रूप से मंहत, सरपंच,उपसरपंच और पंच को रखा जाए। इसके साथ ही मंदिर का मुख्य निर्माण निर्मोही अखाड़ा के हाथ से किया जाए। चाहते हैं कि जल्द से जल्द मंदिर का निर्माण हो ताकि हिन्दू समाज अपने अराध्य भगवान राम का पूजन अर्चन कर सके।


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