
Kidney failure Symptoms: If you also see these 6 signs in your body then be careful, your kidney may get damaged
Kidney failure Symptoms : किडनी का सही तरीके से कार्य करना हमारे स्वास्थ्य के लिए अत्यंत आवश्यक है। किडनी रक्त को छानकर शरीर से विषैले पदार्थों को बाहर निकालने का कार्य करती है। हालांकि, कई कारणों से, जैसे कि अस्वस्थ आहार और जीवनशैली, किडनी (Kidney failure Symptoms) को नुकसान पहुँच सकता है, जिसके कुछ संकेत हमारे शरीर में दिखाई देते हैं। इन संकेतों की समय पर पहचान करके, आप उचित उपचार और सावधानियों के माध्यम से किडनी को फिर से स्वस्थ बना सकते हैं।
नींद आने में परेशनी
जब गुर्दे सही तरीके से फ़िल्टर नहीं कर पाते, तो विषैले पदार्थ मूत्र के जरिए शरीर से बाहर निकलने के बजाय रक्त में ही रह जाते हैं। इससे नींद में कठिनाई हो सकती है।
यह भी पढ़ें : कई फायदे होते हैं अनार के छिलके की चाय के, जानिए आप भी
बार बार पेशाब का आना
लगातार पेशाब करने की आवश्यकता महसूस होती है, विशेषकर रात के समय, तो यह किडनी की समस्या का संकेत हो सकता है। जब किडनी के फ़िल्टर प्रभावित होते हैं, तो इससे पेशाब करने की इच्छा में वृद्धि हो सकती है।
गुर्दे की कार्यक्षमता में कमी के चलते सोडियम (नमक) का संचय हो सकता है, जिससे आपके पैरों और टखनों में सूजन उत्पन्न हो सकती है।
कम भूख लगना
यह (Kidney failure Symptoms) एक आम लक्षण है, लेकिन गुर्दे की कार्यक्षमता में कमी के कारण शरीर में विषाक्त पदार्थों का संचय होना इसका एक संभावित कारण हो सकता है।
मांसपेशियों में ऐंठन
इलेक्ट्रोलाइट असंतुलन गुर्दे की कार्यप्रणाली में कमी के परिणामस्वरूप उत्पन्न हो सकता है। उदाहरण के लिए, कैल्शियम का कम स्तर और फॉस्फोरस का खराब नियंत्रण मांसपेशियों में ऐंठन उत्पन्न कर सकता है।
मूत्र में रक्त का आना
स्वस्थ गुर्दे सामान्यतः रक्त से अपशिष्ट पदार्थों को छानते समय शरीर में रक्त कोशिकाओं को बनाए रखते हैं। लेकिन जब गुर्दे (Kidney failure Symptoms) के फ़िल्टर में क्षति होती है, तो ये रक्त कोशिकाएं मूत्र में रिसने लगती हैं। मूत्र में रक्त की उपस्थिति गुर्दे की बीमारी का संकेत हो सकती है, साथ ही यह ट्यूमर, गुर्दे की पथरी या संक्रमण का भी संकेत दे सकती है।
यह भी पढ़ें : निमोनिया से कैसे रखें बच्चों को सुरक्षित, जानिए आप
डिसक्लेमरः इस लेख में दी गई जानकारी का उद्देश्य केवल रोगों और स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के प्रति जागरूकता लाना है। यह किसी क्वालीफाइड मेडिकल ऑपिनियन का विकल्प नहीं है। इसलिए पाठकों को सलाह दी जाती है कि वह कोई भी दवा, उपचार या नुस्खे को अपनी मर्जी से ना आजमाएं बल्कि इस बारे में उस चिकित्सा पैथी से संबंधित एक्सपर्ट या डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें।
Updated on:
05 Nov 2024 04:01 pm
Published on:
05 Nov 2024 03:57 pm
बड़ी खबरें
View Allस्वास्थ्य
ट्रेंडिंग
लाइफस्टाइल
