यहां थे नाके
भेड़ाघाट नगर पंचाचत के क्षेत्रातंर्गत दो तीर्थ यात्री कर नाके वर्षों से संचालित थे। ये नाके भेड़ाघाट में बिल्हा और गोपालपुर छोर पर थे। सरकार के आदेश के बाद दोनों नाकों को तत्काल प्रभाव से बंद कर दिया गया है। शासन के निर्णय के मुताबिक 1 मार्च, 2018 से यहां तीर्थ और यात्री कर की व्यवस्था समाप्त हो गई है।
इस फैसले का असर
सरकार ने प्रदेश के सभी धार्मिक स्थलों में तीर्थ यात्री कर समाप्त कर दिया गया है। इस फै सले के बाद नाके हटाए गए। पहले हाईवे मार्ग और लम्हेटाघाट मार्ग दोनों से होकर जाने में कर चुकाना पड़ता था। भेड़ाघाट नगर पंचायत अध्यक्ष शैला जैन ने बिल्हा व गोपालपुर मार्ग स्थित दोनों नाकों को तत्काल प्रभाव से बंद किए जाने की पुष्टि की है।
बस का कर 125 रुपए
पर्यटकों व श्रद्धालुओं के भेड़ाघाट आने पर कार-जीप जैसे वाहनों के लिए कर ३० रुपए निर्धारित था। मिनी बस के प्रवेश के लिए 70 रुपए व बड़ी बस का किराया 125 रुपए चुकाना होता था। इस राशि को नगर पंचायत के खाते में जमा करने का प्रावधान था।
ये भी बड़ी वजह
भेड़ाघाट में संचालित तीर्थ यात्री कर नाकों को लेकर कुछ समय से विवाद भी गहरा रहा था। नाकों पर अवैध वसूली के साथ ही अनियमितता की शिकायतें आ रही थी। मार्ग से गुजरने वाले वाहनों और यात्री संख्या के अनुपातिक सरकार के खजाने में राजस्व की बेहद कम राशि जमा हो रही थी। इस अनियमितता को भी नाके बंद किए जाने के कारणों में गिनाया जा रहा है।
अब केवल पार्र्किंग शुल्क
भेड़ाघाट की सीमा में प्रवेश करने पर अब केवल वाहन की पार्र्किंग शुल्क देना होगा। बसों की पार्र्किंग शुल्क उद्यान के समीप पार्र्किंग स्थल में देना होगा। जबकि दोपहिया वाहनों व कार-जीप की पार्र्किंग शुल्क धुंआधार मार्ग पर स्थित पार्र्किंग स्थल में चुकाना होगा।