स्थानीय उत्पादों की आपूर्ति : अब स्थानीय स्तर पर उत्पादित उत्पादों की सप्लाई जिले में की जा रही है। इससे संक्रमण की चेन भी तोडऩे में मदद मिलेगी। जिले में व्यापक पैमाने पर अंडा और ब्रायलर का उत्पादन होता है। रोजाना 8 से 10 लाख अंडा की पैदावार यहां पर होती है।
फॉर्म और आसपास सेनेटाइजेशन
प्रशासन ने हाल में पोल्ट्री संचालकों की बैठक की थी। इसमेंं उनके द्वारा पूरी सतर्कता बरतने की बात कही गई थी। इस बात को ध्यान में रखते हुए फॉर्म संचालक एवं टे्रडर्स ने अपना प्रोटोकाल बना लिया है। इसलिए फॉर्म और आसपास सेनिटाइजेशन पहले की तुलना मेंं ज्यादा हो गया है। प्रशासन ने बैठक में कहा था कि जिले में बर्ड फ्लू नहीं है फि र भी जिले के कुक्कुट पालकों व व्यवसायियों को पोल्ट्री फ ार्मो में साफ. सफ ाई बरतना आवश्यक है। बैठक में बताया गया कि आवश्यक सावधानी रखते हुए कुक्कुट उत्पादों को अच्छे से पकाकर उपयोग में लाने से संक्रमण का खतरा नहीं होता है।
उधर, अलग-अलग जगह मिले 8 मृत पक्षी
जिले में शनिवार को भी विभिन्न क्षेत्रों में पक्षियों की मरने की घटनाएं हुई। घटना की सूचना मिलने पर पशु चिकित्सा विभाग द्वारा कार्यवाही करते हुए मृत पक्षियों के सैंपल कलेक्ट किए गए। लोगों को एहतियात बरतने के निर्देश दिए गए हैं। जिले में मुर्गे मुर्गियों के मरने का कोई भी मामला सामने नहीं आया है। ग्वारीघाट, गुप्तेश्वर, बड़ी ओमती से छह कबूतर मरे मिले हैं। चेरीताल से एक मैना एवं रांझी थाने के सामने से काले रंग का पक्षी मृत मिला है। पशु चिकित्सा विभाग ने लोगों को सर्तक रहने की हिदायत दी है। भोपाल स्थित हाई सिक्योरिटी लैब को भेजे गए नमूने की रिपोर्ट अभी नहीं आई है। रिपोर्ट आने के बाद ही बर्ड फ्लू होने ना होने की पुष्टि हो सकेगी।
उपसंचालक पशु चिकित्सा विभाग डॉ एसके बाजपेई ने कहा कि कुछ पक्षियों की मरने की सूचनाएं प्रकाश में आई हैं जिनकी जांच कराई जा रही है। मुर्गे-मुर्गियों के संबंध में कोई भी मामला शहर में प्रकाश में नहीं आया है। इस सम्बंध में खंड पशु चिकित्सा अधिकारी डॉ. नीता मनोचा ने बताया कि घुटना गांव में मृत पाई गई टिटहरी एवं धरमपुरा गांव में मृत पाए गए कौवा को सिहोरा खंड पशु चिकित्सा कार्यालय के कोल्ड चेन में रखा गया है। वरिष्ठ अधिकारियों से प्राप्त दिशा निर्देशों पर अग्रिम कार्रवाई की जाएगी।