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11 साल के इंतजार के बाद सुधरेंगे जयपुर-गुड़गांव छह लेन हाईवे के दिन

- बचे काम के लिए एनएचएआइ ने 1156 कराेड़ रुपए के टेंडर किए - 792 करोड़ रुपए वर्तमान में सड़क बना रही कम्पनी से वसूले जाएंगे- 2018 से बंद पड़ा है नेशनल हाइवे के निर्माण का काम

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11 साल के इंतजार के बाद सुधरेंगे जयपुर-गुड़गांव छह लेन हाईवे के दिन

11 साल के इंतजार के बाद सुधरेंगे जयपुर-गुड़गांव छह लेन हाईवे के दिन

अरविन्द सिंह शक्तावत

जयपुर। आखिरकार 11 साल के इंतजार के बाद जयपुर-गुड़गांव के बीच के छह लेन हाईवे के हालात सुधरने के दिन आ गए हैं। काफी प्रयासों के बाद एनएचएआई ने बाकी बचे काम के लिए 1156 करोड़ रुपए के टेंडर जारी कर दिए हैं। इन 1156 करोड़ रुपए में से 792 करोड़ रुपए छह लेन हाईवे सड़क बनाने का काम कर रही कम्पनी से वसूले जाएंगे। इस कम्पनी को यह सड़क एक अक्टूबर, 2011 तक बना कर देनी थी, लेकिन अलग-अलग विवादों के चलते आज तक जयपुर-गुड़गांव सड़क पूरी नहीं बन पाई है।
एनएचएआई ने दो साल में इस सड़क को पूरी बनाने का लक्ष्य रखा है। इन दो सालों में इस हाईवे पर कई नए फ्लाईओवर और ब्रिज तो बनेंगे ही। साथ ही पूरी सड़क का भी नवीनीकरण होगा, यानि पूरी सड़क को नया बनाया जाएगा।

एनएचएआई के अधिकारियों के मुताबिक जयपुर से गुड़गांव के बीच 225 किलोमीटर सड़क को छह लेन करने का काम 2018 तक 98.67 प्रतिशत पूरा हो चुका था, लेकिन उसके बाद कम्पनी ने काम नहीं किया और यह हाईवे धीरे-धीरे उखड़ता ही गया। जगह-जगह सड़क टूट चुकी थी। चार साल तक इस सड़क पर ज्यादा पैसा खर्च नहीं हुआ। अब एनएचएआई ने काम शुरू करने को हरी झंडी दे दी है। टेंडर प्रक्रिया शुरू हो गई है। प्रक्रिया पूरी होते ही वर्क ऑर्डर दे दिए जाएंगे और इसके बाद काम शुरू हो जाएगा।
225 किमी का होगा डामरीकरण

जयपुर-गुड़गांव छह लेन हाईवे का 64 किलोमीटर हिस्सा हरियाणा और 161 किलोमीटर हिस्सा राजस्थान से होकर गुजरता है। हरियाणा के हिस्से की सड़क के नवीनीकरण (डामरीकरण) के लिए 260 करोड़ रुपए स्वीकृत किए गए हैं। इसी तरह राजस्थान के हिस्से की सड़क के नवीनीकरण के लिए 532 करोड़ रुपए स्वीकृत किए गए हैं। यह सारा पैसा उसी कम्पनी से वसूला जाएगा, जिससे इस सड़क को चार लेन से छह लेन करने का काम मिला था।
15 नए स्ट्रक्चर भी बनेंगे
पूरी सड़क के नवीनीकरण के साथ ही पन्द्रह नए स्ट्रक्चर भी इस नेशनल हाईवे पर बनेंगे, जिससे ट्रेफिक में आ रही बाधाएं दूर होंगी और ट्रेफिक जाम से निजात मिलेगी। इसके तहत छह फ्लाईओवर, एलीवेटेड रोड और ओवर ब्रिज हरियाणा में बनेंगे। इनमें तीन ओवर ब्रिज चौड़े किए जाएंगे। इसी तरह राजस्थान की सीमा में 9 फ्लाईओवर और ओवरब्रिज बनाए जाएंगे। इन 9 में से चार चौड़े किए जाएंगे।

अब तक 98 प्रतिशत से ज्यादा काम पूरा

जयपुर-गुड़गांव नेशनल हाईवे को चार लेन से छह लेन करने का काम तीन अप्रेल, 2009 को शुरू हुआ था। सड़क बनाने वाली कम्पनी को यह काम एक अक्टूबर 2011 को पूरा करना था। लेकिन, िस्थति यह है कि तमाम कोशिशों के बावजूद आज तक पूरी सड़क नहीं बन सकी है। केन्द्र में एनडीए सरकार आने के बाद केन्द्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने 2015 में गुड़गांव से लेकर कोटपूतली तक इस नेशनल हाईवे का दौरा किया और दावा किया था कि मार्च, 2016 तक सड़क का काम पूरा हो जाएगा, लेकिन ऐसा नहीं हो पाया। उलटा हालत यह हो गई कि विवादों के चलते 2018 के बाद सड़क निर्माण का काम ही रुक गया।

विरोध के चलते टोल की दरें भी कम करनी पड़ी थी जयपुर-गुड़गांव नेशनल हाईवे आज तक अधूरा पड़ा है, लेकिन हर साल टोल की दरें बढ़ाई जा रही थी। इसे लेकर काफी विवाद हुआ था और 2013-14 में एक साल ऐसा भी रहा, जब जनता के विरोध के चलते एनएचएआई को इस नेशनल हाईवे पर टोल की दरें कम करनी पड़ी थी। दो साल तक दरें भी नहीं बढ़ाई गई थी। जयपुर से गुड़गांव के बीच इस नेशनल हाईवे पर तीन जगह टोल प्लाजा बने हुए हैं।
इनका कहना है————

— जयपुर—गुडगांव के बीच की सडक बनने में जो भी बाधाएं थी, वह दूर हो गई है और 1156 करोड के टेंडर भी कर दिए गए हैं। उम्मीद है कि अब दो साल में यह सडक पूरी बन कर तैयार हो जाएगी। — अजय आर्य, परियोजना निदेशक, एनएचएआई, जयपुर