
मक्के की नई आवक से उत्पादन बढ़ने का अनुमान, घटेंगे दाम
स्थानीय मंडियों में नया मक्का आना शुरू हो गया है, जिससे इसके दामों मे भी धीरे-धीरे गिरावट का सिलसिला शुरू हो गया है। आवक जोर पकड़ने पर दाम और घट सकते हैं। बारिश के कारण मक्के की नई आवक में 10 से 15 दिन की देरी हुई है। हालांकि व्यापारियों के अनुसार बारिश से उत्पादन पर खास फर्क नहीं पड़ने वाला है। सरकारी आंकड़ों के मुताबिक इस खरीफ सीजन में 231 लाख टन मक्का उत्पादन होने का अनुमान है, जो पिछले सीजन के उत्पादन 226 लाख टन से ज्यादा है। मक्का कारोबारियों का कहना है कि उत्पादक राज्यों की मंडियों में नये मक्के की आवक शुरू हो चुकी है, जिससे इसके दाम भी धीरे-धीरे सुस्त पड़ने लगे हैं। सप्ताह भर में मक्के के दाम 50-70 रुपए घटकर 2200 से 2400 रुपए प्रति क्विंटल रह गए हैं।
बारिश के कारण आवक में देरी
बारिश के कारण मक्के की नई फसल की आवक में 10 से 15 दिन देरी हुई है। हाल में हुई बारिश से कटाई अभी भी प्रभावित हो रही है। कर्नाटक और मध्य प्रदेश की मंडियों में 1000 से 1500 बोरी मक्के की आवक हो रही है। नई आवक शुरू होने से मध्य प्रदेश में मक्के के दाम 2400 रुपए से गिरकर 2360 रुपए प्रति क्विंटल पर आ चुके हैं। मक्के की पोल्ट्री फीड में मांग सबसे ज्यादा रहती है। इस फीड में उपयोग होने वाले अन्य उत्पादों मसलन सोयाबीन, बाजरा, टूटे चावल आदि के दाम भी घटे हैं। इससे भी मक्के की कीमतों में गिरावट को बल मिल रहा है। बारिश से कटाई में देरी तो हो रही है। लेकिन उत्पादन घटने की संभावना कम है। इस साल पिछले साल से मक्के की पैदावार ज्यादा होने का अनुमान है। इससे भी मक्के की कीमतों में सुस्ती आई है।
Published on:
25 Oct 2022 01:20 pm
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