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शंकराचार्य बोले- गीता के अंश निकाल दिए जाए तो बाइबिल ही खत्म, भगवान के बताए तीन नाम… पढि़ए पूरी खबर

Shankaracharya Jaipur Dharm Sabha जयपुर। श्रीगोवर्धनमठ पुरीपीठाधीश्वर शंकराचार्य स्वामी निश्चलानन्द सरस्वती का कहना है कि बाइबिल में से यदि गीता के अंश को निकाल दिए जाए तो बाइबिल ही खत्म हो जाए। उन्होंने अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति का हवाला देते हुए कहा कि वे खुद इसे मानते थे।

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शंकराचार्य बोले- गीता के अंश निकाल दिए जाए तो बाइबिल ही खत्म, भगवान के बताएं तीन नाम... पढि़ए पूरी खबर

शंकराचार्य बोले- गीता के अंश निकाल दिए जाए तो बाइबिल ही खत्म, भगवान के बताएं तीन नाम... पढि़ए पूरी खबर

Shankaracharya Jaipur Dharm Sabha जयपुर। श्रीगोवर्धनमठ पुरीपीठाधीश्वर शंकराचार्य स्वामी निश्चलानन्द सरस्वती का कहना है कि बाइबिल में से यदि गीता के अंश को निकाल दिए जाए तो बाइबिल ही खत्म हो जाए। उन्होंने अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति का हवाला देते हुए कहा कि वे खुद इसे मानते थे। शंकराचार्य जयपुर के गोविंददेवजी मंदिर में आयोजित धर्मसभा में बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि मुस्लिम, ईसाई और दूसरे सभी धर्मों के लोगों के पूर्वज भी हिंदू ही थे।

सरस्वती ने श्रीमद्भागवत गीता के गूढ़ रहस्यों के आधार पर मानव जीवन की सार्थकता और सनातन धर्म के बारे में बताते हुए कहा कि हमें वेद शास्त्रों का ज्ञान लेने की जरूरत है। हमारे भगवान की विलक्षणता है कि वे जगत बनाते है, जगत बनते भी है, इसलिए साक्षात अवतार लेते हैं। हम भगवान को साकार मानते है, भगवान की उपासना सगुन निराकार के रूप में करते हैं। आकाश निराकार है, भोजन सगुन साकार है, भूख सगुन निराकार है। नाम की महिमा पर शंकराचार्य ने कहा कि शब्द की असीम शक्ति है। नाम के बल पर भवसागर से तर जाते है। नाम से वस्तु स्थिति का ज्ञान हो जाता है। भगवान के तीन नाम है, अच्युत, अनन्त, गोविंद।

यह भी पढ़े: मुस्लिम, ईसाई और दूसरे सभी धर्म के लोगों के पूर्वज हिंदू ही थेः शंकराचार्य

... तो लोग स्वयं ही हिन्दू धर्म में आ जाएंगे
दुनिया के 53 देशों में हिंदू रहते हैं। अगर भारत को हिंदू राष्ट्र घोषित कर दिया जाए तो एक साल में मॉरीशस समेत 15 देश हिंदू राष्ट्र घोषित हो जाएंगे। उन्होंने कहा कि 53 देशों में हिन्दू निवास करते है, मॉरीशस आदि देशों में विचारशील हिन्दू हैं। सब के पूर्वज हिन्दू है, यह बात उन्हें ही याद दिला दी जाए तो स्वयं ही हिन्दू धर्म मे आ जाएंगे।

राजनेताओं पर बोले शंकराचार्य....
शंकराचार्य स्वामी निश्चलानन्द सरस्वती ने कहा कि नेता सिर्फ चुनावी वादे करते हैं। चुनाव में कुछ नेता अब ऐसे भी कहेंगे कि आप तो बस मुझे वोट दें और आराम करें। विकास हम करा देंगे। ये सिर्फ चुनावी वादे होते हैं। हमारे आसपास की सभी समस्याओं को हमें मिलकर ही हल करना चाहिए। देश को सुरक्षा की दृष्टि से तैयार रहना चाहिए।

बच्चों को मिट्टी से खेलने दें...
उन्होंने महिलाओं से कहा कि बच्चों में मिट्टी से प्रेम नहीं है, अपने बच्चों को मिट्टी से खेलने दें। शंकराचार्य ने कहा कि हमारा जीवन वसुधैव कुटुम्बकम की व्याख्या है। हर परिवार एक रुपया भी मंदिरों- मठों के निर्माण में दान करें तो मंदिर सुरक्षित, सुदृढ़ हो जाएं। संत निर्विकल्पानंद ने कहा कि वेद पुराण का निर्वहन कर हम हिन्दू रह सकते हैं। महापुरूषों ने वर्णाश्रम की व्यवस्था की, वैदिक परंपरा का निर्वहन करने की आवश्यकता है।