ऐसे चला घटनाक्रम
जनता माली 10 साल से शादी के बाद पति व बच्चों के साथ जोधपुर में रह रही है। उसको भारतीय नागरिकता नहीं मिली है। कोविड फेज के पहले अपनी मां की तबीयत पूछने नोरी वीजा पर पाकिस्तान गई थी। उसके पति व बच्चे भारतीय नागरिक ऐसे हैं ऐसे में वे विजिटर्स वीजा पर गए थे। परिवहन साधन बंद हुए तो सभी वहां फंस गए। जुलाई माह में उनके पति व बच्चे तो लौट आए, लेकिन वह फंस गई। इसके बाद काफी लम्बे संघर्ष के बाद आखिरकार मंगलवार को उसकी वापसी हुई।
जनता माली 10 साल से शादी के बाद पति व बच्चों के साथ जोधपुर में रह रही है। उसको भारतीय नागरिकता नहीं मिली है। कोविड फेज के पहले अपनी मां की तबीयत पूछने नोरी वीजा पर पाकिस्तान गई थी। उसके पति व बच्चे भारतीय नागरिक ऐसे हैं ऐसे में वे विजिटर्स वीजा पर गए थे। परिवहन साधन बंद हुए तो सभी वहां फंस गए। जुलाई माह में उनके पति व बच्चे तो लौट आए, लेकिन वह फंस गई। इसके बाद काफी लम्बे संघर्ष के बाद आखिरकार मंगलवार को उसकी वापसी हुई।
पत्रिका ने उठाया मामला
जुलाई माह में जनता के पति लीलाराम और तीन बच्चे पाकिस्तान से जोधपुर लौट आए थे। तब से पत्रिका लगातार इस मुइ्दे को उठाता रहा। 340 नोरी वीजा पर गए लोग पहले चरण में हिंदुस्तान आए तब भी जनता माली का उसमें नम्बर नहीं आया। पत्रिका ने इस मामले को भी गंभीरता से उठाया। ऐसे में अब उसकी वापसी संभव हो पाई है।
जुलाई माह में जनता के पति लीलाराम और तीन बच्चे पाकिस्तान से जोधपुर लौट आए थे। तब से पत्रिका लगातार इस मुइ्दे को उठाता रहा। 340 नोरी वीजा पर गए लोग पहले चरण में हिंदुस्तान आए तब भी जनता माली का उसमें नम्बर नहीं आया। पत्रिका ने इस मामले को भी गंभीरता से उठाया। ऐसे में अब उसकी वापसी संभव हो पाई है।
नीति बनाने की मांग
सोढ़ा ने जनता माली की वापसी पर हर्ष तो जताया साथ ही भारत और पाकिस्तान की सरकरों से अग्रह किया है कि दोनों देश इस ढंग की नीति बनाए कि बिछुड़े व विभाजित परिवारों को एक किया जा सके।
सोढ़ा ने जनता माली की वापसी पर हर्ष तो जताया साथ ही भारत और पाकिस्तान की सरकरों से अग्रह किया है कि दोनों देश इस ढंग की नीति बनाए कि बिछुड़े व विभाजित परिवारों को एक किया जा सके।