चालक लक्ष्मणसिंह कार में बुरी तरह फंस गया। आस-पास अंधेरा होने व कार के झाडि़यों में जाकर पलटने से किसी को हादसे का पता नहीं लग पाया। इस बीच, गुरुवार सुबह आस-पास के ग्रामीणों ने कार पलटी देखी। उसमें चालक फंसा हुआ था, लेकिन उसकी मृत्यु हो चुकी थी। बाद में पुलिस मौके पर पहुंची और क्रेन की मदद से कार को बाहर निकाला। बाद में काफी मशक्कत के बाद चालक को कार से बाहर निकाला जा सका। रातभर कार में फंसे रहने से उसकी मृत्यु हो गई। मृतक के भाई रामसिंह की तरफ से मामला दर्ज कर कार्रवाई के बाद शव परिजन को सौंपा गया है।
पुलिस का कहना है कि गरनिया गांव में भागवत कथा के दौरान ढोल वादक कैलाश का हाथ फ्रैक्चर हो गया था। जिसे लेकर लक्ष्मणसिंह बुधवार को कार में जोधपुर आया था। पहला पुलिया के पास अस्पताल में भर्ती कराकर उसने रात 10.40 बजे भाई से बात कर कहा था कि वो कुछ देर में गांव के लिए रवाना हो रहा है। एेसे में अंदेशा है कि वह ग्यारह बजे रवाना हुआ होगा और साढ़े ग्यारह बजे के करीब हादसा हो गया।
अज्ञात वाहन से टक्कर के बाद कार सडक़ से उतरकर झाडि़यों में जाकर फंस गई। वह कई बार पलटी भी खाई। इससे कार बुरी तरह पिचक गई और चालक फंस गया। रातभर फंसे रहने से उसकी मृत्यु हो गई। सुबह ग्रामीणों ने कार देखी तो कार नम्बर के आधार पर मालिक हरिदास को सूचना दी। बाद में परिजन भी मौके पर पहुंच गए।